PGIMER में 11वां वार्षिक अनुसंधान दिवस: 400 शोध पोस्टर और 48 नवाचारों की प्रस्तुति, शोधकर्ताओं को किया गया सम्मानित
विवेक शर्मा/ट्रिन्यू
चंडीगढ़, 22 मार्च
पोस्टग्रेजुएट इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल एजुकेशन एंड रिसर्च (PGIMER), चंडीगढ़ में शनिवार को 11वें वार्षिक अनुसंधान दिवस का भव्य आयोजन किया गया। इस अवसर पर 400 से अधिक शोध पोस्टर प्रदर्शित किए गए और 48 उत्कृष्ट नवाचारों को प्रस्तुत किया गया। कार्यक्रम में देशभर के चिकित्सा विशेषज्ञ, शोधकर्ता और वैज्ञानिक शामिल हुए।
कार्यक्रम के मुख्य अतिथि प्रो. अजय कुमार सूद, प्रधान वैज्ञानिक सलाहकार, भारत सरकार और PM-STIAC के अध्यक्ष रहे, जबकि प्रो. सुंदर स्वामीनाथन, इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ साइंस (IISc), बेंगलुरु के प्रोफेसर, विशेष अतिथि के रूप में उपस्थित रहे।
शोध और नवाचारों को मिला सम्मान
इस कार्यक्रम के दौरान विभिन्न श्रेणियों में 48 शोधकर्ताओं को सम्मानित किया गया।
मेडिकल स्पेशलिटीज़
- प्रोफेसर श्रेणी:
- प्रथम पुरस्कार: डॉ. अजय कुमार दुसेजा (हेपेटोलॉजी)
- द्वितीय पुरस्कार: डॉ. शंकर प्रिंजा (कम्युनिटी मेडिसिन और स्कूल ऑफ पब्लिक हेल्थ)
- तृतीय पुरस्कार: डॉ. रितेश अग्रवाल (पल्मोनरी मेडिसिन)
- अतिरिक्त प्रोफेसर श्रेणी:
- प्रथम पुरस्कार: डॉ. पूनम खन्ना (कम्युनिटी मेडिसिन और स्कूल ऑफ पब्लिक हेल्थ)
- द्वितीय पुरस्कार: डॉ. अनमोल भाटिया (रेडियोडायग्नोसिस और इमेजिंग)
- तृतीय पुरस्कार: डॉ. कार्थी नल्लासामी (पीडियाट्रिक मेडिसिन)
- एसोसिएट प्रोफेसर श्रेणी:
- प्रथम पुरस्कार: डॉ. सहजाल धूरिया (पल्मोनरी मेडिसिन)
- द्वितीय पुरस्कार: डॉ. जयंत समंता (गैस्ट्रोएंटरोलॉजी)
- तृतीय पुरस्कार: डॉ. निपुण वर्मा (हेपेटोलॉजी)
- असिस्टेंट प्रोफेसर श्रेणी:
- प्रथम पुरस्कार: डॉ. वल्लियप्पन मुथु (पल्मोनरी मेडिसिन)
- द्वितीय पुरस्कार: डॉ. अर्का डे (हेपेटोलॉजी)
- तृतीय पुरस्कार: डॉ. कपिल गोयल (कम्युनिटी मेडिसिन और स्कूल ऑफ पब्लिक हेल्थ)
सर्जिकल स्पेशलिटीज़
- प्रोफेसर श्रेणी:
- प्रथम पुरस्कार: डॉ. काजल जैन (एनेस्थीसियोलॉजी और इंटेंसिव केयर)
- द्वितीय पुरस्कार: डॉ. निधि भाटिया (एनेस्थीसियोलॉजी और इंटेंसिव केयर)
- तृतीय पुरस्कार: डॉ. प्रवीन सुलंके (न्यूरोसर्जरी) और डॉ. सुष्मिता कौशिक (एडवांस्ड आई सेंटर, ऑप्थल्मोलॉजी)
- अतिरिक्त प्रोफेसर श्रेणी:
- प्रथम पुरस्कार: डॉ. कमल काजल (एनेस्थीसियोलॉजी और इंटेंसिव केयर)
- द्वितीय पुरस्कार: डॉ. हरजीत सिंह (जीआई सर्जरी, एचपीबी और लिवर ट्रांसप्लांटेशन)
- तृतीय पुरस्कार: डॉ. गिरीधर एस बोरा (यूरोलॉजी)
50 से अधिक नवाचारों की प्रस्तुति
इस वर्ष अनुसंधान दिवस की एक और बड़ी उपलब्धि 50 से अधिक नवाचारों की प्रस्तुति रही। प्रमुख शोधकर्ताओं में शामिल रहे:
- प्रो. बबीता घई (एनेस्थीसियोलॉजी और इंटेंसिव केयर)
- डॉ. जय शुक्ला (न्यूक्लियर मेडिसिन)
- डॉ. रविंद्र खैवाल (कम्युनिटी मेडिसिन और स्कूल ऑफ पब्लिक हेल्थ)
- डॉ. रमेश वालिया (एंडोक्राइनोलॉजी)
- डॉ. विनय कुमार (ओरल हेल्थ साइंसेज, डेंटल)
- डॉ. संदीप पटेल (ऑर्थोपेडिक्स)
- डॉ. दंडपाणी एस.एस. (न्यूरोसर्जरी)
इसके अलावा, भविष्य के संभावित नवाचारों की सूची भी जारी की गई, जिसमें डॉ. निधि भाटिया (एनेस्थीसियोलॉजी), डॉ. तन्मय समरा (एनेस्थीसियोलॉजी) और डॉ. शालमोली भट्टाचार्य (बायोफिजिक्स) जैसे प्रमुख नाम शामिल हैं।
विशेषज्ञों ने रखे विचार
इस अवसर पर PGIMER के विशेषज्ञों ने चिकित्सा अनुसंधान और नवाचारों पर जोर दिया। प्रो. अजय कुमार सूद ने कहा,
"यह मंच अनुसंधानकर्ताओं को प्रेरित करता है और चिकित्सा विज्ञान में नई संभावनाओं के द्वार खोलता है।"