मुख्य समाचारदेशविदेशखेलपेरिस ओलंपिकबिज़नेसचंडीगढ़हिमाचलपंजाबहरियाणाआस्थासाहित्यलाइफस्टाइलसंपादकीयविडियोगैलरीटिप्पणीआपकी रायफीचर
Advertisement

PGI Awareness Campaign : "हाई ब्लड प्रेशर से किडनी को खतरा! पीजीआई में जागरूकता अभियान, मरीजों की चौंकाने वाली आदतें सामने आईं"

06:50 PM Mar 16, 2025 IST

विवेक शर्मा/चंडीगढ़, 16 मार्च

Advertisement

PGI Awareness Campaign : अनियंत्रित हाई ब्लड प्रेशर आपकी किडनी को धीरे-धीरे खत्म कर सकता है, लेकिन सही खानपान और जीवनशैली से इसे बचाया जा सकता है। इसी संदेश को जन-जन तक पहुंचाने के लिए पीजीआईएमईआर, चंडीगढ़ के आहार विज्ञान विभाग ने विश्व किडनी दिवस (10-15 मार्च) के अवसर पर सप्ताह भर विशेष आहार परामर्श शिविर का आयोजन किया। यह शिविर नई ओपीडी, उन्नत हृदय केंद्र सहित सभी ओपीडी में आयोजित किया गया, जिससे अधिक से अधिक मरीजों और उनके परिजनों को जागरूक किया जा सके।

ब्लड प्रेशर और किडनी की सेहत पर विशेषज्ञों की राय

इस मौके पर मुख्य आहार विशेषज्ञ डॉ. नैन्सी साहनी, वरिष्ठ आहार विशेषज्ञ बी.एन. बेहड़ा, सुनीला छेत्री और प्रतिभा ने मरीजों को संतुलित आहार, जल सेवन, उचित नमक और वसा की मात्रा के महत्व को समझाया। उन्होंने बताया कि अत्यधिक नमक, प्रोसेस्ड फूड, और पानी की कमी किडनी के लिए बेहद हानिकारक हो सकती है।

Advertisement

इसके अलावा, आंतरिक चिकित्सा विभाग के प्रोफेसर डॉ. आशीष भल्ला ने हाई ब्लड प्रेशर के लक्षणों, दवाओं के प्रति भ्रांतियों और किडनी पर पड़ने वाले दुष्प्रभावों के बारे में जानकारी दी। उन्होंने यह भी बताया कि सही समय पर ब्लड प्रेशर नियंत्रण न किया जाए तो यह धीरे-धीरे किडनी फेल्योर का कारण बन सकता है।

मरीजों की चौंकाने वाली आदतें – सर्वेक्षण से हुआ खुलासा

शिविर के दौरान 60 मरीजों पर किए गए सर्वेक्षण में कुछ चौंकाने वाले तथ्य सामने आए:

- 48.6% मरीजों को लगता है कि ब्लड प्रेशर के लिए दवाएं लेना जरूरी नहीं, इसलिए वे इसे अनियमित रूप से लेते हैं।
- 31.4% मरीजों ने कहा कि ब्लड प्रेशर सामान्य लगने पर वे दवाएँ छोड़ देते हैं, जो आगे चलकर किडनी के लिए घातक हो सकता है।
- 9.1% मरीजों में रात में बार-बार पेशाब आना और पैरों में सूजन जैसी किडनी फेल्योर की शुरुआती चेतावनी देखी गई।
- 21% मरीजों ने ब्लड प्रेशर ठीक करने के लिए जड़ी-बूटियों और घरेलू नुस्खों का सहारा लिया, जो बिना वैज्ञानिक प्रमाण के इस्तेमाल किए जाने पर नुकसानदेह साबित हो सकता है।
- 70.45% मरीजों ने जरूरी 5 सर्विंग्स की जगह सिर्फ 1-2 सर्विंग्स ही फल और सब्जियों की लीं।
- 54.55% मरीजों ने दिनभर में केवल 3-4 गिलास पानी पीने की बात स्वीकार की, जबकि पर्याप्त जल सेवन किडनी के लिए बेहद जरूरी है।

जागरूकता के लिए सालभर चलेगा अभियान

पीजीआई के आहार विज्ञान विभाग का कहना है कि यह अभियान केवल एक दिन तक सीमित नहीं रहेगा। "हमारा उद्देश्य मरीजों को सालभर जागरूक करते रहना है, ताकि वे अपनी जीवनशैली में सुधार कर किडनी को गंभीर बीमारियों से बचा सकें," विभाग ने बताया।

मरीजों को किडनी की देखभाल, सही आहार, उच्च रक्तचाप से बचाव और नियमित स्वास्थ्य परीक्षण से जुड़ी जानकारी देने के लिए पर्चे भी बांटे गए।

"अगर हम समय रहते अपनी आदतें सुधार लें, तो किडनी फेल्योर जैसी गंभीर स्थिति से बचा जा सकता है।" इस संदेश के साथ पीजीआई ने विश्व किडनी दिवस पर मरीजों और उनके परिवारों को स्वस्थ जीवनशैली अपनाने का आह्वान किया।

Advertisement
Tags :
Chandigarh NewsDainik Tribune Hindi NewsDainik Tribune newshigh blood pressureHindi Newskidneylatest newsPgiPGI awareness campaignदैनिक ट्रिब्यून न्यूजहिंदी समाचार