हिमाचल और दिल्ली के बीच दूरियां पैदा न करें
शिमला, 26 मार्च (हप्र) : लोक निर्माण मंत्री विक्रमादित्य सिंह ने कहा है कि वित्तीय मोर्चे पर हिमाचल कठिन हालात से गुजर रहा है। ऐसे में कांग्रेस और भाजपा को दलगत राजनीति से ऊपर उठकर बात करनी होगी, तभी मौजूदा हालात से बाहर निकला जा सकेगा। उन्होंने यह भी कहा कि प्रदेश के मौजूदा खराब आर्थिक हालात हमेशा नहीं रहेंगे। वे बुधवार को विधानसभा में विपक्ष द्वारा लोकनिर्माण को लेकर लाए गए कटौती प्रस्तावों पर हुई चर्चा का जवाब दे रहे थे। सदन ने विपक्ष के कटौती प्रस्ताव को ध्वनिमत से नामंजूर कर दिया।
विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि केंद्रीय योजनाओं के तहत हिमाचल को आ रहा पैसा हमारा अधिकार है। उन्होंने विपक्ष को सलाह दी कि वह हिमाचल और दिल्ली के बीच दूरियां पैदा न करे। यह हिमाचल के हक में नहीं है। उन्होंने कहा कि हम आलोचना कर प्रदेश की मौजूदा वित्तीय स्थिति को ठीक नहीं कर सकते। इसके लिए सभी पक्षों के सकारात्मक सहयोग की जरूरत है।
लोक निर्माण मंत्री ने कहा कि फिलहाल प्रदेश के पास जितना बजट है, उसका सदुपयोग किया जाएगा। इसके अलावा केंद्र से भी योजनाओं में पैसा लाया जाएगा और उसे समय पर खर्च भी किया जाएगा। उन्होंने कहा कि सड़कें प्रदेश सरकार की प्राथमिकता हैं और सरकार सड़कों का निर्माण करती रहेगी, फिर चाहे पैसा दिल्ली का हो या हिमाचल का।
विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि पीएमजीएसवाई-4 हिमाचल के लिए बहुत महत्वपूर्ण है। इसमें अधिकांश सड़कें चंबा और सिरमौर जिलों तथा आनी जैसे कठिन क्षेत्रों की हैं।
उन्होंने यह भी कहा कि केंद्रीय भूतल मंत्री नितिन गडकरी ने मंडी और पंडोह के बीच फोरलेन सड़क के निर्माण के कारण यातायात में आ रही बाधा के दृष्टिगत चैलचौक से पंडोह और मंडी से वाया कमांद होकर कुल्लू जाने वाले मार्ग का सुधारीकरण करने के लिए एनएचएआई के माध्यम से 19 करोड़ रुपए जारी किए हैं। इसके अलावा भुभुजोत टनल को रक्षा मंत्रालय से सैद्धांतिक मंजूरी मिल गई है।
लोक निर्माण मंत्री ने कहा कि प्रदेश सरकार बीबीएमबी और एनएचएआई से आधारभूत ढांचे के मामले उठाएगी ताकि प्रदेश समग्र विकास कर रही सरकार
इस क्षेत्र में आ रही दिक्कतों को दूर किया जा सके। उन्होंने यह भी कहा कि प्रदेश सरकार क्षेत्रवाद से ऊपर उठकर हिमाचल का समग्र विकास कर रही है। उन्होंने यह भी कहा कि कठिन वित्तीय हालात के कारण लोकनिर्माण ही नहीं, बल्कि सभी विभागों के बजट में कमी आई है। इससे पूर्व कटौती प्रस्तावों पर हुई चर्चा में विधायक दीप राज, अनिल शर्मा, सुरेंद्र शौरी और रणवीर सिंह निक्का ने भी हिस्सा लिया।