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अब तक भाजपा सरकार में रेवाड़ी से नहीं बना कोई मंत्री, इस बार उम्मीद

07:44 AM Oct 12, 2024 IST

तरुण जैन/हप्र
रेवाड़ी, 11 अक्तूबर
जीत की हैट्रिक लगातार सत्ता में आई नायब सैनी सरकार के नये मंत्रिमंडल में इस बार अहीरवाल से किस विधायक को स्थान मिलेगा, इसे लेकर सियासी हलचल तेज हो गई है। रेवाड़ी हलके से भाजपा प्रत्याशी लक्ष्मण सिंह यादव की जीत के बाद अब यह चर्चा जोर पकड़ रही है कि क्या इस बार रेवाड़ी को प्रदेश सरकार के मंत्रिमंडल में जगह मिलेगी। भाजपा की शानदार वापसी के बाद रेवाड़ी के लोगों की मंत्री पद को लेकर उम्मीद जगी है। पिछले 10 साल के भाजपा शासन में रेवाड़ी को जगह नहीं मिली थी।
10 साल के शासन में जिले की कोसली व बावल सीट से विजयी रहे प्रत्याशियों को मंत्रिमंडल में जगह मिल चुकी है। बावल से विधायक डा. बनवारी लाल लगातार 2 बार विधायक बने और दोनों योजनाओं में मंत्री रहे। 2014 में कोसली से विजयी हुए बिक्रम यादव ठेकेदार मंत्री बने। उस समय ये दोनों नेता केंद्रीय मंत्री राव इंद्रजीत सिंह के कोटे से आते थे। 2014 में रेवाड़ी से विजयी रहे रणधीर सिंह कापड़ीवास को रामपुरा हाउस यानी राव इंद्रजीत सिंह का विरोधी माने जाने के कारण मंत्रिमंडल से दूर रखा गया था। 2019 में रेवाड़ी से कांग्रेस के चिरंजीव राव ने भाजपा से यह सीट छीन ली थी। इस बार कोसली के विधायक लक्ष्मण सिंह यादव को भाजपा ने रेवाड़ी से चुनाव मैदान में उतारा। उन्होंने रिकार्ड लगभग 29 हजार के मतों के अंतर से जीत दर्ज कर कांग्रेस से यह सीट छीन ली और भाजपा की झोली में डाल दी।
चर्चा यह है कि कोसली व बावल को मंत्रिमंडल में जगह मिलने के बाद लगातार दो बार विजयी रहे लक्ष्मण यादव को क्या इस बार नायब सरकार में मंत्री पद मिल सकता है। रेवाड़ी के लोगों को उन्हें मंत्री बनाये जाने का इंतजार है। इसका मुख्य कारण यह है कि रेवाड़ी में विकास का पहिया जिस तेज गति से घूमना चाहिए था, नहीं घूमा। कभी राव विरोधी विधायक होने के कारण तो कभी विपक्षी विधायक होने के कारण रेवाड़ी का विकास ठप रहा और इसका खामियाजा यहां के लोग भुगत रहे हैं। नगर परिषद में भाजपा की चेयरपर्सन हैं। लोग उनसे शहर दुर्दशा को लेकर नाराज हैं। सड़कों का बुरा हाल है। बारिश के दिनों में कई सड़कें झील बन जाती हैं। लोग प्रॉपर्टी आईडी को ठीक कराने के लिए धक्के खा रहे हैं। विपक्षी दलों ने रेवाड़ी की दुर्दशा का मुद्दे को चुनावों में उठाया था। तहसील, जनस्वास्थ्य, बिजली विभाग व नगर परिषद के अधिकारी अपने आप को जन सेवक नहीं, राजा समझते हैं। जनता की सुनवाई करने की बजाये उन्हें कार्यालयों के चक्कर लगवाकर प्रताड़ित कर रहे हैं। ऐसे में जनता को है कि इस बार रेवाड़ी का मंत्री होगा तो शहर व गांवों का कायाकल्प होगा। वैसे भी जिला रेवाड़ी के विजयी भाजपा प्रत्याशियों में लक्ष्मण यादव सबसे सीनियर हैं। बावल से डा. कृष्ण कुमार व कोसली से अनिल डहीना पहली बार चुनाव जीते हैं और दोनों ही राजनीति में नये चेहरे हैं। लक्ष्मण यादव का कहना है कि मंत्रिमंडल में किसे लेना है, यह मुख्यमंत्री का अधिकार क्षेत्र है।
शहर की दुर्दशा पर नवनिर्वाचित विधायक लक्ष्मण सिंह ने कहा कि प्रॉपर्टी आईडी सहित अन्य पोर्टलों की समस्याओं को सुलझाना उनकी प्राथमिकता रहेगी। जब मौका मिलेगा तो वे मुख्यमंत्री से मिलकर इस पर बात करेंगे। उन्होंने कहा कि शहर की सड़कों का शीघ्र कायाकल्प किया जाएगा। उन्होंने कहा कि वे आश्वासन देने में विश्वास नहीं करते, सड़कों को ठीक करवाना भी उनका दायित्व है। उन्होंने कहा कि रेवाड़ी में 50 साल से कांग्रेस व इसके नेता कै. अजय सिंह यादव परिवार का शासन रहा। उनके कारण ही रेवाड़ी शहर की यह दशा बनी है।

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