गांव घराचों में सरपंच के लिए ‘आप’ नेता को छोड़कर सभी के पर्चे खारिज
संगरूर, 6 अक्तूबर (निस)
मुख्यमंत्री के दो ओएसडी के गांव घराचों में पंचायत चुनाव के लिये हुई स्क्रूटनी के समय केवल आप उम्मीदवार को छोड़कर बाकी सभी के कागज़ रद्द कर दिए गए। सरपंच उम्मीदवारों के नामांकन पत्र रद्द होने के विरोध में 2 उम्मीदवारों ने अपने साथियों सहित मुख्यमंत्री भगवंत मान और पंजाब सरकार के खिलाफ सड़क जाम कर प्रदर्शन किया और नारे लगाए। इस मौके पर प्रत्याशी जरनैल सिंह व जगसीर सिंह ने कहा कि मुख्यमंत्री के रिश्तेदार ने हमारी जीत देखकर घबराहट में आकर हमारे पर्चे रद्द कर दिये हैं, जिसका गांव में कड़ा विरोध हो रहा है। इस मौके पर जगसीर सिंह ने कहा कि ‘आप’ नेता दलजीत सिंह के घर पर उनका डीजे बज रहा था, जिसके चलते उनके पर्चे खारिज करवा दिए गए हैं। उन्होंने उक्त सरपंच के सर्वसम्मति से सरपंच बनने की खबर फैलने की भी निंदा की और कहा कि यह सब कुछ सरकार की शह पर हुआ है। सभी गांव निवासी इस का विरोध कर रहे हैं। इस मौके पर कांग्रेस ब्लॉक अध्यक्ष गुरदीप सिंह घराचों ने कहा कि हर स्तर पर विफल सरकार उम्मीदवारों के पर्चे खारिज कर आप नेताओं का गांवों पर कब्जा करवा रही है, जिसे बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। उन्होंने कलस्टर स्थल के पास नारेबाजी की और गांव घराचों की मुख्य सड़क को जाम कर धरना दिया। इस बीच प्रशासन की ओर से इस क्लस्टर के सामने लगाए गए पोस्टर में गांव घराचों के 3 सरपंच उम्मीदवारों चमकौर सिंह पुत्र सुखदेव सिंह, जरनैल सिंह पुत्र हरदेव सिंह, जगसीर सिंह पुत्र सुखदेव सिंह के दस्तावेज रद्द करने का कारण बताया गया है।
इस दौरान महिला आरक्षण में पर्चा दाखिल होने के कारण गांव जालान के पंची प्रत्याशी सुरजीत सिंह और काला सिंह का पर्चा खारिज कर दिया गया। पटियाला से सांसद डाॅ. धर्मवीर गांधी ने सत्तारूढ़ आम आदमी पार्टी पर पंचायत चुनावों में धांधली करके के आरोप लगाए और पंजाब राज्य चुनाव आयोग और भारत के चुनाव आयोग से जिम्मेदार अधिकारियों और सत्तारूढ़ दल के खिलाफ कार्रवाई की मांग करते हुए कहा कि अगर ऐसा नहीं हुआ तो कांग्रेस आंदोलन करेगी। डॉ. गांधी यहां अपने साथियों पूर्व विधायक मदन लाल जलालपुर, सन्नौर हलके से कांग्रेस प्रभारी हरिंदरपाल सिंह हेरीमान, ग्राम प्रधान हरविंदर सिंह खनौड़ा, जिला यूथ प्रधान संजीव शर्मा कालू के साथ बातचीत कर रहे थे। गांधी ने कहा कि नामांकन भरने आये उम्मीदवारों के कागजात फाड़े जा रहे हैं और विरोधियों के कागजात बिना किसी कारण के खारिज किये गए। उन्हें डरा-धमका कर चुनाव लड़ने से रोका गया।