सरकारी अस्पतालों में डॉक्टरों की हड़ताल, दर-दर भटकते रहे मरीज
बठिंडा, 12 सितंबर (निस)
पंजाब में तीन दिन तक चली डॉक्टरों की आंशिक हड़ताल आज चौथे दिन पूर्ण हड़ताल में बदल गई। डाक्टरों ने ओपीडी बंद कर हड़ताल कर पंजाब सरकार के खिलाफ रोष प्रदर्शन किया।इसका असर बठिंडा के अलावा पूरे मालवा क्षेत्र में देखने को मिला। बठिंडा के सरकारी अस्पताल में 1000 से अधिक मरीज इस हड़ताल से प्रभावित हुए। सैकड़ों मरीज इलाज के लिए अस्पताल आए लेकिन ओपीडी बंद होने के कारण उन्हें बिना इलाज के ही वापस लौटने को मजबूर होना पड़ा। दूर दराज गांवों से आए कई लोग प्राइवेट हॉस्पिटलों का रुख करने पर मजबूर हो रहे हैं।
एसोसिएशन के प्रतिनिधियों ने बताया कि 9 सितंबर से हड़ताल रखने का फैसला लिया गया था, जिसके तहत सिविल सर्जन को ज्ञापन भी सौंपे गए। उन्होंने बताया कि एमरजेंसी सेवाएं जारी रहेंगी। हालांकि, इस दौरान ड्राइविंग लाइसेंस मेडिकल जांच, असला लाइसेंस चिकित्सा परीक्षण, सामान्य चिकित्सा परीक्षाएं, भर्ती संबंधी चिकित्सा परीक्षाएं, कोई यूडीआईडी कार्य, कोई वीआईपी, वीवीआईपी ड्यूटी, बैठक, कोई डोप टेस्ट नहीं किया जाएगा।
एसोसिएशन के अध्यक्ष डॉ. जगरूप सिंह ने बताया कि आज से दूसरे चरण में सभी सेवाएं पूरे समय के लिए बंद कर दी गई हैं। इसके बाद भी 16 सितंबर तक कोई समाधान नहीं निकला तो डॉक्टर सभी प्रकार की मेडिको-लीगल सेवाएं छोड़ने को बाध्य होंगे। उन्होंने कहा कि मांगें माने बगैर डॉक्टर अपना संघर्ष खत्म नहीं करेंगे।