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चरचा हुक्के पै

07:10 AM Jul 08, 2024 IST
चरचा हुक्के पै
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शिकायतों की गठरी

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हरियाणा के दाढ़ी वाले नये ‘बड़े साहब’ पिछले सप्ताह सिरसा के दौरे पर थे। लोगों की समस्याएं सुनीं। समस्याएं भी थोक के भाव में आईं। कुछ ढाई हजार से अधिक शिकायतें बड़े साहब के पास पहुंचीं। सभी शिकायतों को गठरी में बांधकर साहब हेलीकॉप्टर से चंडीगढ़ ले आए। यह तो एक जिले का हाल था। वह भी तब जब जिले के सभी हलकों के लोग भी नहीं पहुंचे थे। इससे आइडिया लगाया जा सकता है कि बाकी प्रदेश में क्या हाल होगा। वैसे ‘बड़े साहब’ ने इन समस्याओं को देखते हुए ही जिला मुख्यालय के अलावा सब-डिवीजन पर भी अधिकारियों को ‘समाधान शिविर’ लगाने के आदेश दिए हुए हैं। भाजपा वाले भाई लोगों का साफ कहना है – अगर स्थानीय स्तर पर अधिकारियों द्वारा समय रहते सुनवाई की जाती रही तो यह नौबत नहीं आएगी। लेकिन अफसरशाही किसी की सुनने को राजी ही कहां है।

फोन के फायदे और नुकसान

हरियाणा में ऐसे नेताओं की संख्या कम ही है, जो खुद फोन अटेंड करते हैं। देर रात में भी इनके फोन उठते हैं। हरियाणा के नये दाढ़ी वाले ‘बड़े साहब’ के अलावा सांघी वाले ताऊ और इनेलो वाले बड़े चौधरी चाहे कुर्सी पर हों या नहीं, उनके फोन अकसर उठते हैं। ताऊ की तो यहां तक आदत है कि अगर उनका फोन किसी कारण से नहीं उठता तो वे बैक-कॉल करते हैं। हालांकि इसके फायदे भी हैं और नुकसान भी। ताऊ के सीएम रहते हुए एक किस्सा भी है। रात करीब 11 बजे किसी ने फोन किया और कहा – इस पुलिस वाले ने मुझे रोका हुआ है और चालान काट रहा है। दाढ़ी वाले ‘बड़े साहब’ को भी एक व्यक्ति रोजाना रात को सुरूर में फोन किया करता था। उसे कई बार समझाया भी कि शेर आया-शेर आया वाली ना बन जाए। ऐसा ही हुआ। एक दिन पुलिस ने पकड़ लिया। फोन किया तो वह उठा नहीं। सुबह पता लगा कि साहब थाने में हैं। कहने का भाव है कि फोन जरूर करें लेकिन जरूरी होने पर ही।

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बापू-बेटा बनाम गुरु-चेला

लोकसभा चुनाव के नतीजों के बाद सभी दल विधानसभा चुनाव की तैयारियों में जुटे हैं। नेताओं द्वारा एक-दूसरे पर तीखे शब्दबाण छोड़े जा रहे हैं। ‘दाढ़ी’ वाले ‘बड़े साहब’ ने कांग्रेस को लेकर टिप्पणी कर दी। कहने लगे हरियाणा में कांग्रेस ‘बापू-बेटा’ की पार्टी बनकर रह गई है। सांघी वाले ताऊ भी कहां चुप बैठने वाले थे। हाथों-हाथ जवाब देते हुए कहा – सभी जानते हैं हरियाणा में ‘गुरु-चेले’ की सरकार चल रही है। ताऊ का मतलब दाढ़ी वाले ‘बड़े साहब’ और दिल्ली वाले ‘काका’ से था। सांघी वाले ताऊ ने यहां तक कह दिया कि फैसले कहां से होते हैं और ट्रांसफर कौन कर रहा है, सभी जानते हैं। अब ‘दाढ़ी’ वाले बड़े साहब ने भी जवाब देते हुए कहा – डंके की चोट पर कहता हूं मैं चेला हूं। वो मेरे गुरु थे, हैं और रहेंगे। उनसे विचार-विमर्श भी करता रहूंगा।

रेस्ट हाउस बने ‘गेस्ट’ हाउस

हरियाणा के विभिन्न जिलों में स्थित पीडब्ल्यूडी रेस्ट हाउस अब ‘गेस्ट’ हाउस बन गए हैं। ‘काका’ की सरकार के समय इनमें कमरों की बुकिंग ऑनलाइन क्या शुरू की, बड़े-बड़े ‘चौधरियों’ को जरूरत पर कमरे नहीं मिल पाते। सरकारी सिस्टम में रेस्ट हाउस इसलिए बनाए गए थे ताकि सरकार के मंत्रियों-विधायकों, सांसदों व अधिकारियों आदि को फील्ड में दौरों के दौरान रुकने व बैठक आदि करने में कोई दिक्कत न आए। ऑनलाइन सिस्टम शुरू होने के बाद अब कोई भी व्यक्ति रूम बुक करवा सकता है। सरकार के मंत्रियों-विधायकों के अलावा ब्यूरोक्रेसी को भी यह सिस्टम रास नहीं आ रहा है। अब इस तरह की चर्चा है कि जिस तरह से पर्यटन विभाग द्वारा चलाए जा रहे होटल्स में कमरों की बुकिंग होती थी और बाहर के लोग यहां मजा से रुकते थे। वैसे ही हालात अब रेस्ट हाउस के हो गए हैं। इनमें ‘गेस्ट’ ही रुकने लगे हैं।

बिल्लू का प्लान

इनेलो वाले ‘बिल्लू’ भाई साहब बड़ा राजनीतिक धमाका करने की तैयारी में हैं। 2019 के विधानसभा चुनावों में हाथी की चाल उनके लिए अच्छी नहीं रही लेकिन इस बार ‘हाथी’ की ‘सवारी’ का पक्का इंतजाम हो गया है। यूपी वाली ‘बहनजी’ के साथ खुलकर बातचीत हो गई है। हर मुद्दे पर चर्चा हो चुकी है। इनेलो वाले बड़े चौधरी ने देश में तीसरे मोर्चे की बड़ी कोशिशें की। लेकिन बात नहीं बन पाई। अब बिल्लू भाई साहब ने हरियाणा में ‘तीसरा मोर्चा’ बनाने का बीड़ा उठाया है। इनेलो व बसपा के अलावा और भी कई पार्टियों को साथ जोड़ने की प्लानिंग है। अब इसका कितना राजनीतिक फायदा मिलेगा यह तो आने वाला समय ही बताएगा लेकिन यूपी वाली ‘बहनजी’ से मुलाकात करके ‘बिल्लू’ भाई साहब ने कांग्रेस वाले भाई लोगों को जरूर बैठे-बिठाए टेंशन दे दी है।
-दादाजी

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