पराली जलाने पर तीन किसानों के खिलाफ केस दर्ज
नारनौंद, 21 अक्तूबर (निस)
सरकार के आदेशों के बावजूद धान के अवशेषों को आग के हवाले करने वाले किसानों पर मामले दर्ज किए जा रहे हैं इसी कड़ी में नारनौंद पुलिस ने तीन किसानों पर मामला दर्ज करके कार्रवाई शुरू कर दी है।
नारनौंद क्षेत्र में किसान ज्यादातर धान की फसल उगाते हैं और फसल के अवशेषों आग के हवाले कर देते हैं। इसी को लेकर प्रशासन की तरफ कृषि अधिकारी, पटवारी ग्राम सचिव और नंबरदार की टीम जहां हरसेक द्वारा आग लगने की लोकेशन मिलती है वहीं पहुंचते हैं। इसी कड़ी में अधिकारियों को सूचना मिली कि नारनौंद निवासी सुरजीत ने अपने खेत में दो एकड़ में आग लगाई हुई थी। बुढ़ाना निवासी संजीव व बलजीत ने दो-दो एकड़ धान की फसल के अवशेषों को जलाया हुआ पाया गया। पुलिस ने तीनों किसानों के खिलाफ विभिन्न धाराओं तहत के तहत मामला दर्ज करके जांच शुरू कर दी है।
कृषि अधिकारी ललित ने बताया कि विभाग से आदेश आए हुए हैं। जो किसान अपनी धान की फसल को आग के हवाले करेगा उसे रेड मार्क कर दिया जाएगा। इसके बाद वह दो सीजन तक फसल को ऑनलाइन नहीं बेच सकेगा। उसके खिलाफ पुलिस में मामला भी दर्ज करवाया जाएगा।
खेत को रेड एंट्री में लाने के फैसले का विरोध
भिवानी (हप्र) : भाजपा सरकार शुरू से ही किसानों को बर्बाद करने की मंशा से किसान हित के विपरीत कार्य करती आ रही है जिसका उदाहरण हरियाणा में तीसरी बार सरकार बनते ही भाजपा एक बार फिर से पेश किया है। अब भाजपा सरकार ने पराली जलाने वाले किसान के खेत को रेड एंट्री में लाने तथा किसान पर एफआईआर दर्ज करने का नियम बनाया है। इसके साथ ही रेड एंट्री वाले किसान की दो साल तक फसल न खरीदे जाने का नियम भी सरकार ने बनाया है जिसका ग्राम स्वराज किसान मोर्चा ने विरोध जताया है।
ग्राम स्वराज किसान मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष जोगेंद्र तालु ने कहा कि भाजपा सरकार को चाहिए कि किसानों पर तानाशाही रवैया थौपने की बजाय उन्हे डीएपी खाद व बिजली-पानी की सुविधा मुहैया करवाए, लेकिन सरकार इसके उलट कार्य करते हुए किसानों को सुविधा उपलबध करवाने की बजाय उन्हें परेशान करने की नीयत से काम कर रही है। उन्होंने कहा कि सरकार को चाहिए कि पराली प्रबंधन को लेकर उचित कदम उठाए। जोगेंद्र तालु ने कहा कि यदि सरकार ने जल्द ही रेड एंट्री के नियम को रद्द नहीं किया तो ग्राम स्वराज किसान मोर्चा आंदोलन करने पर मजबूर होंगा।