पीड़ित परिवारों ने किया रोष प्रदर्शन
मोहाली, 6 मई (हप्र)
पंजाब के अलग-अलग जिलों से पुलिस व सरकार के कथित रूप से सताए पीड़ित परिवारों ने सोमवार को मोहाली वाईपीएस चौक पर रोष प्रदर्शन किया। प्रदर्शन में एससी-बीसी महापंचायत पंजाब के मेंबर भी शामिल हुए। प्रदर्शनकारियों ने मुख्यमंत्री की कोठी का घेराव करने के लिए चंडीगढ़ की
ओर कूच किया लेकिन वाईपीएस चौक पर चंडीगढ़ -मोहाली बॉर्डर पर उन्हें पुलिस ने रोक दिया। इसके बाद प्रदर्शनकारियों ने सड़क पर ही धरना लगा लिया और पंजाब पुलिस के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। प्रदर्शनकारियों ने सिर पर काले रंग की पट्टियां बांधी हुई थीं। जब उन्हें चंडीगढ़ में घुसने नहीं दिया गया तो वे पंजाब सरकार के खिलाफ नारेबाजी करने लगे। बाद में डीएसपी मनमीत सिंह ने
उन्हें शांत करवाया और प्रदर्शनकारियों ने मुख्यमंत्री के नाम से उन्हें मांग पत्र सौंपा। पुलिस ने उन्हें आश्वासन दिया कि वह जल्द ही डीजीपी से उनकी मुलाकात करवाएगी जिसके बाद प्रदर्शनकारियों ने धरना बंद किया और लौट गए।
पंजाब के अलग-अलग जिलों से पीड़ित परिवार आज फेज-7 के लाइट प्वाइंट पर इकट्ठा हुए। उनके साथ एससीबीसी महापंचायत के मेंबर भी मौजूद थे। सभी ने एक एकसाथ सुबह 11 बजे चंडीगढ़ सीएम आवास की ओर कूच किया जिन्हें बॉर्डर पर पुलिस ने रोक लिया। पीड़ित 75 वर्षीय एनआरआई जोगिंदर कौर संधू ने आरोप लगाया कि वह पिछले 21 साल से सरकार व पुलिस के उच्चाधिकारियों के दफ्तरों में चक्कर लगाकर थक चुकी है। उसका आरोप है कि उसकी कोठियों व प्लॉटों पर गुंडों द्वारा अवैध कब्जे किए हुए हैं। उसका आरोप है कि उसके गहने, नगदी व सात मोबाइल तक छीन लिए गए हैं। उसकी शिकायत पर आज तक कोई कार्रवाई नहीं हुई।
इसी तरह सुनीता शर्मा ने अपने पति बलदेव कृष्ण निवासी कुंभड़ा को अगवा करने का मामला फेज-8 में दर्ज करवाया था। पर 11 साल बाद भी मोहाली पुलिस ने कोई कार्रवाई नहीं कि उल्टा तीन आरोपियों को निर्दोश साबित करने में उनकी मदद कर रही है। वहीं बलविंदर सिंह कुंभड़ा ने आरोप लगाया कि एससी- बीसी महापंचायत पंजाब की ओर से अपनी मांगों को लेकर धरना लगाया गया था। पुलिस ने उन पर व पत्नी गुरनाम कौर पर एफआईआर दर्ज कर दी।
कार्रवाई न होने पर अगली बार उग्र प्रदर्शन की चेतावनी
पंजाब पुलिस के रिटायर्ड सब इंस्पेक्टर गुलराज खन्ना व उनकी पत्नी जसवीर कौर ने आरोप लगाया कि वे दोनों बीजेपी पार्टी के पदाधिकारी हैं। पिछले दिन हलका पायल में हुई पार्टी की मीटिंग में स्टेज पर लोगों के सामने एक व्यक्ति को बुरी तरह से पीटा गया और जाति सूचक शब्द बोले गए। पुलिस ने इस मामले में एकतरफा कार्रवाई कर असल दोषियों को बचा लिया। दंपत्ति ने अब बीजेपी से भी इस्तीफा दे दिया है। इसी तरह गोहला निवासी महिला ने बताया कि उनकी बेटी जो शादीशुदा है और उसके दो बच्चे हैं, को चार व्यक्ति अगवा करके ले गए और गैंग रेप किया। जिसकी एफआईआर 30 अक्तूबर 2023 को दर्ज हुई। इस मामले में भी मुक्तसर पुलिस ने कोई सुनवाई नहीं की। अब हारकार उन्होंने हाईकोर्ट में याचिका दायर की। पीड़ित लोगों ने आरोप लगाया कि पंजाब के मुख्यमंत्री व डीजीपी पंजाब के पास आम लोगों की सुनवाई के लिए कोई समय नहीं है। उन्होंने चेतावनी दी कि अगर जल्द ही उनकी शिकायतों पर कोई कार्रवाई नहीं हुई तो अगली बार रोष प्रदर्शन उग्र होगा।