पीजी संचालक की हत्या के दो दोषियों को उम्रकैद
गुरुग्राम, 12 दिसंबर (हप्र)
यहां एक पीजी में रहने के लिए पहचान पत्र मांगने के दौरान हुए झगड़े में पीजी संचालक की हत्या केे दो दोषियों को अदालत ने कठोर कारावास के साथ उम्रकैद की सजा सुनाई है। अदालत ने दोषियों पर जुर्माना भी लगाया है। संदीप, निवासी गांव सांपला, जिला रोहतक (35) की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। पुलिस के अनुसार 5 मई, 2021 को थाना सदर में अस्पताल से संदीप के बारे में सूचना मिली थी। सूचना पर पुलिस टीम अस्पताल पहुंची, जहां पर मृतक के साथी ने पुलिस टीम को शिकायत दी। शिकायत में कहा कि उसने तथा उसके दोस्त संदीप ने गांव इस्लामपुर में पीजी चलाने के लिए बिल्डिंग किराए पर ली थी। मनीष व जोंटू नामक व्यक्ति पहले से ही पीजी के कमरे में रह रहे थे। उनसे कई बार अपनी आईडी जमा करने के लिए कहा गया, लेकिन उन्होंने आईडी जमा नहीं करवाई। 4 मई, 2021 को उन्होंने उन दोनों व्यक्तियों को आईडी देने के लिए कहा तो आपस में कहासुनी हो गई। उसके बाद 4-5 मई को जोंटू उनके कमरे में आया और संदीप को गोली मार दी। जोंटू से पिस्टल छीनने की कोशिश की तो पिस्टल जोंटू के सिर में लगी। इसके बाद जोंटू पिस्टल छोड़कर भाग गया। इसी दौरान वहां पर मनीष आ गया तथा मनीष ने भी पिस्टल से संदीप पर गोली चलाई। एक गोली संदीप को लगी। संदीप को अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां उपचार के दौरान उसकी मौत हो गई। आरोपियों की पहचान मनीष जाखड़, निवासी गांव साल्हावास, जिला झज्जर व प्रशांत उर्फ जोंटू निवासी गांव कुलासी सदर जिला झज्जर के रूप में हुई थी। एडीशनल सेशन जज तरुण सिंघल की अदालत ने आरोपियों के खिलाफ पुलिस द्वारा दिए गए साक्ष्यों व गवाहों के आधार पर आरोपियों को दोषी करार देते हुए दोनों को धारा 302 आईपीसी के तहत उम्रकैद (कठोर कारावास) व एक लाख रुपये के जुर्माने की सजा, धारा-120बी आईपीसी के तहत छह महीने कैद की सजा, धारा 25-1बी (ए) शस्त्र अधिनियम के तहत पांच वर्ष की कैद व 10 हजार रुपये जुर्माने की सजा तथा धारा-27 (1) शस्त्र अधिनियम के तहत 7 वर्ष की कैद व 10 हजार रुपये जुर्माने की सजा सुनाई।