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इंटरलॉकिंग सिस्टम से छेड़छाड़ ने खोला मौत का द्वार!

11:36 AM Jun 05, 2023 IST
इंटरलॉकिंग सिस्टम से छेड़छाड़ ने खोला मौत का द्वार
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मुख्य अंश

  • अब जद्दोजहद जिंदगी को पटरी पर लाने की
  • बालासोर ट्रेन दुर्घटना की सीबीआई जांच की सिफारिश

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नयी दिल्ली/बालासोर, 4 जून (एजेंसी)

रेलवे ने ओडिशा में बालासोर में हुए भीषण रेल हादसे की सीबीआई से जांच की सिफारिश की है। रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने रविवार शाम भुवनेश्वर में यह जानकारी दी। इससे पहले रेल मंत्री ने कहा कि ओडिशा के बालासोर में शुक्रवार को हुए भीषण रेल हादसे के कारण का पता चल गया है और इसके लिए जिम्मेदार लोगों की पहचान कर ली गई है। वैष्णव केंद्रीय मंत्री धर्मेंद्र प्रधान के साथ दुर्घटनास्थल पर डेरा डाले हुए हैं।

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रेल मंत्री ने कहा कि हादसे की वजह रेलवे सिग्नल के लिए अहम उपकरण ‘प्वाइंट मशीन’ और ‘इलेक्ट्रॉनिक इंटरलॉकिंग’ प्रणाली से संबंधित है। उन्होंने कहा, ‘प्वाइंट मशीन’ की सेटिंग में बदलाव किया गया। यह कैसे और क्यों किया गया, इसका खुलासा जांच रिपोर्ट में किया जाएगा।’ इलेक्िट्रक प्वाइंट मशीन त्वरित संचालन और ‘प्वाइंट स्विच’ को लॉक करने के लिए रेलवे सिग्नल का महत्वपूर्ण उपकरण है। यह रेलगाड़ियों के सुरक्षित परिचालन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। इन मशीनों के काम न करने की स्थिति में ट्रेन संचालन पर गंभीर असर पड़ता है। गौरतलब है कि बालासोर में रेलवे स्टेशन के पास शुक्रवार शाम करीब सात बजे कोरोमंडल एक्सप्रेस के मुख्य लाइन के बजाय लूप लाइन में प्रवेश करने के बाद वहां खड़ी एक मालगाड़ी से टकरा गई थी। इस हादसे की चपेट में बेंगलुरू-हावड़ा सुपरफास्ट एक्सप्रेस भी आ गई थी। इस बीच, सुरक्षा प्रणाली को लेकर पश्चिम बंगाल की सीएम एवं कांग्रेस के कुछ नेताओं द्वारा उठाए गए सवाल पर वैष्णव ने कहा कि रेल हादसे का ‘कवच’ प्रणाली से कोई लेना-देना नहीं है। रेलवे अपने नेटवर्क में इसे उपलब्ध कराने की प्रक्रिया में है, ताकि रेलगाड़ियों के आपस में टकराने से होने वाले हादसों को रोका जा सके। उधर, अमेरिकी राष्ट्रपति जे बाइडेन और संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुतारेस ने इस हादसे पर गहरा दुख जताया है।

स्पेशल फ्लाइट से भेजे गए डॉक्टर

नयी दिल्ली स्थित एम्स और केंद्र के अन्य अस्पतालों के चिकित्सकों को भारतीय वायुसेना के एक विशेष विमान से भुवनेश्वर भेजा गया है। यह दल दवाइयां और अन्य अहम चिकित्सकीय उपकरण लेकर गया है। उधर, ओडिशा के सीएम नवीन पटनायक ने पीएम मोदी को बताया है कि चिकित्सक, चिकित्सा की पढ़ाई कर रहे छात्र और अन्य स्वास्थ्य सेवा पेशेवर सर्वश्रेष्ठ प्रयास कर रहे हैं।

इस बीच, ओडिशा के मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने रविवार को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से फोन पर बात की और उन्हें घायल यात्रियों के उपचार के बारे में जानकारी दी। बताया गया कि प्रधानमंत्री ने संकट के समय तत्काल एवं कुशल तरीके से कदम उठाने के लिए मुख्यमंत्री पटनायक को धन्यवाद दिया। प्रधानमंत्री ने इस मुश्किल घड़ी में समय पर मदद मुहैया कराने के लिए ओडिशा के लोगों की भी प्रशंसा की। ओडिशा के मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने रेल हादसे में मारे गए लोगों के परिजनों को पांच-पांच लाख रुपये की अनुग्रह राशि देने की रविवार को घोषणा की।

कल तक पूरा हो जाएगा मरम्मत कार्य, एक लाइन बहाल

रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने ट्वीट किया, हावड़ा को जोड़ने वाली डाउन लाइन को बहाल कर दिया गया है। अधिकारियों ने कहा कि अब कम से कम दो लाइन को ट्रेन के आवागमन के लिये दुरुस्त कर दिया गया है, लेकिन बालासोर दुर्घटनास्थल पर लूप लाइन सहित सभी पटरियों को ठीक करने के लिए और समय लगेगा। इस बीच, केंद्रीय मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने कहा, ‘बचाव कार्य पूरा हो गया है और हम प्रभावित लोगों को उनके घर भेजने के लिए स्थानीय प्रशासन के साथ मिलकर काम कर रहे हैं।’ उन्होंने कहा कि लिंक पटरियों की मरम्मत करना बड़ी चुनौती है। मंगलवार तक यह काम संभवत: हो जाएगा।

275 ने गंवाई जान, 1175 घायल

ओडिशा सरकार ने रेल हादसे में मृतकों की संख्या रविवार को 288 से संशोधित कर 275 कर दी और घायलों की संख्या 1,175 बताई है। मुख्य सचिव पीके जेना के मुताबिक, कुछ शवों की दो बार गिनती हो गई थी। उन्होंने कहा, ‘अब तक 793 यात्रियों को अस्पताल से छुट्टी दी जा चुकी है और 382 का सरकारी खर्च पर इलाज हो रहा है।’ जेना ने कहा कि अब तक 88 शवों की पहचान की जा चुकी है और 78 शवों को उनके परिवारों को सौंप दिया गया है, जबकि 187 की पहचान नहीं हो पाई है। उन्होंने कहा, ‘डीएनए नमूना लिया जाएगा और मृतक की तस्वीरें सरकारी वेबसाइट पर अपलोड की जाएंगी।’

कांग्रेस ने मांगा इस्तीफा

कांग्रेस नेता एवं सांसद शक्तिसिंह गोहिल और पार्टी के प्रचार एवं मीडिया विभाग प्रमुख पवन खेड़ा ने कहा कि यह हादसा सरकार की ‘सब कुछ पता होने’ की अहंकारी आत्ममुग्धता का नतीजा है। खेड़ा ने कहा, ‘हम रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव के इस्तीफे की स्पष्ट रूप से मांग करते हैं। इससे कम कुछ नहीं।’ गोहिल और खेड़ा ने पीएम पर निशाना साधते हुए पूछा, ‘क्या केवल निचले या मध्यम स्तर के अधिकारियों की ही जवाबदेही होगी या ‘वंदे भारत’ रेलगाड़ियों का सारा श्रेय लेने वाले व्यक्ति को भी सुरक्षा मानकों की इस खुली अवहेलना के लिए जवाबदेह ठहराया जाएगा।’

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