For the best experience, open
https://m.dainiktribuneonline.com
on your mobile browser.
Advertisement

सुभाष बाेस का सेवा संकल्प

07:08 AM Mar 19, 2024 IST
सुभाष बाेस का सेवा संकल्प
Advertisement

बचपन से ही सुभाष चंद्र बोस में सेवा की भावना कूट-कूट कर भरी थी। एक बार बालक सुभाष अचानक बिना बताए घर से गायब हो गए। जब वे कई दिन तक घर नहीं लौटे तो मां बहुत दुखी हो गई। उनका रोते-रोते बुरा हाल हो गया। अड़ोस-पड़ोस के लोगों को सुभाष जी को ढूंढ़ने भेजा गया। लेकिन उनका कोई पता नहीं चला। कई दिन बाद बालक सुभाष ने चुपके से पीछे से आकर मां की आंखें बंद कर दीं। बेटे के स्पर्श से ही मां पहचान गई कि बेटा सुभाष आ गया है। मां गुस्से से बोली- तू बिना बताए कहां चला गया था। डर से हमारा बुरा हाल हो गया था। सुभाष मुस्कराते हुए बोले, ‘मां पास के गांव में हैजा फैल गया था। लोग लगातार मर रहे थे। इतने दिन बीमारों की सेवा में लगा रहा।’ दरअसल सुभाष जी अपनी जान की परवाह किये बिना दोस्तों की टोली बनाकर रात-दिन हैजा पीड़ितों की मदद में लगे रहे। दवाइयां ला-लाकर बांटते रहे। जब हालात सुधरने लगे तो ही गांव लौटे। पीड़ितों की मदद के लिए बचपन में ही जान जोखिम में डालने वाले सुभाष जी मां को छोड़कर चले गये थे। कालांतर में जब भारतीयों को फिरंगियों से पीड़ित देखा तो भारत मां की अस्मिता की रक्षा के लिए विदेशों में जाकर संघर्ष करने लगे। प्रस्तुति : मधुसूदन शर्मा

Advertisement

Advertisement
Advertisement