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ट्राईसिटी में बारिश बनी मुसीबत, निकासी व्यवस्था फेल

09:15 AM Jun 30, 2025 IST
ट्राईसिटी में बारिश बनी मुसीबत  निकासी व्यवस्था फेल
मनीमाजरा के ढिल्लों पैट्रोल पंप के सामने सड़क पर फंसा वाहन। -हप्र
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उनभ अग्निहोत्री/हप्र
मनीमाजरा (चंडीगढ़), 29 जून
रविवार को हुई तेज बारिश ने शहर में नगर निगम के दावों की पोल खोल कर रख दी। शहर के पानी की निकासी न होने के कारण शहर के अधिकतर चौक पानी से भरे रहे। जानकारी के मुताबिक चंडीगढ़-कालका हाईवे पर ढिल्लों पैट्रोल पंप के सामने सड़क धंसने के कारण उसमें वाहन फंस गया। सेक्टर-26 स्थित पुलिस लाइन के सामने की सड़क पर पिछले कई दिनों से काम चल रहा था,जहां पर ठीक से मिट्टी नहीं डाली गई, जिसकी वजह से बारिश में कई गाड़ियां आज सुबह उसमें धंस गई। सेक्टर 22/23 की डिवाइडिंग रोड पर सेक्टर-22 की तरफ एक बड़ा पेड़ घर की पिछली दीवार पर गिर गया, जिसकी वजह से घर की दीवार पूरी तरह टूट गई। जीएमसीएच के नवनिर्मित ट्रामा सेंटर जिसका अभी उद्घाटन भी नहीं हुआ है, बारिश में उसकी स्थिति खराब हो गई। मनीमाजरा में भी कई सड़कों में पानी भरा रहा।
किशनगढ़ , शास्त्री नगर पुलों पर भी बारिश में वाहन फंस गए। मनीमाजरा की मोटर मार्केट में रोड गलियां बंद होने के कारण कई जगह सड़कों पर पानी भरा रहा। मौसम विभाग के निदेशक सुरेंद्र पाल ने बताया कि हवाओं की दिशा बदलने और अनुकूल मौसमी परिस्थितियों के कारण चंडीगढ़ सहित आसपास के क्षेत्रों में अगले दो-तीन दिन अच्छी बारिश की संभावना है।

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मोहाली, खरड़, शिवालिक सिटी में घरों में घुसा पानी


मोहाली और खरड़ में शनिवार रात और रविवार को अलग-अलग जगह पर जल भराव हो गया। -निस

मोहाली/खरड़ (निस) : मॉनसून की पहली बारिश ने मोहाली, खरड़, एयरपोर्ट रोड और शिवालिक सिटी जैसे विकसित इलाकों की पोल खोल दी। महज आधे घंटे की बारिश में फेज़ 4, फेज़ 11, फेज़ 3बी2 और सेक्टर 71 समेत कई इलाकों में पानी घरों में घुस गया और सड़कें लापता हो गईं। फेज़-5 में भी पानी घरों तक पहुंच गया। पार्षद बलजीत कौर ने कहा,‘अगर बारिश कुछ देर और होती तो काफी नुकसान हो सकता था।’ सेक्टर-71 में सीनियर डिप्टी मेयर अमरीक सिंह सोमल ने बताया कि घुटनों तक पानी भर गया और कई घरों में पानी घुस गया। फेज़-11 में हालात और खराब रहे। लोगों ने घरों के आगे अस्थाई बांध बनाए, लेकिन बाथरूम और नालियों से पानी रिवर्स होकर फिर घरों में घुस गया। पूर्व पार्षद सुखमिंदर सिंह बरनाला ने कहा, ‘यहां के लोग बारिश के साथ-साथ मुख्य सड़क पर चंडीगढ़ की सीवरेज लाइन के ओवरफ्लो का भी दंश झेलते हैं जो रिहायशी एरिया में भी फैलता है। चंडीगढ़ प्रशासन को बार-बार बताया लेकिन कोई स्थायी हल नहीं हुआ।’ एयरपोर्ट रोड और शिवालिक सिटी में भी जलभराव की यही कहानी रही। सनी एनक्लेव से एयरपोर्ट रोड तक हल्की बारिश में भी सड़कें डूब गईं। लोगों ने मॉडर्न ड्रेनेज सिस्टम, नियमित सफाई और आपातकालीन योजना की मांग की है। इस मामले में निगम अधिकारियों का कहना है कि समीक्षा की जा रही है। जरूरत के अनुसार प्रबंध किए जाएंगे ताकि लोगों को असुविधा न हो।

ज़ीरकपुर की मुख्य सड़क बनी दलदल


चंडीगढ़ के औद्योगिक क्षेत्र में रविवार को रेलवे अंडरपास में पानी भर जाने से उसमें फंसी एक कार। -ट्रिब्यून फोटो

जीरकपुर (हप्र) : जीरकपुर के बलटाना की ट्रिब्यून कॉलोनी रोड पर बरसात के बाद पानी जमा होने से हालात बेहद खराब हो गए हैं। आनंद विहार के सामने इस मुख्य सड़क पर पिछले डेढ़ साल से नाली बंद पड़ी है, जिससे हर बारिश में गंदा पानी सड़क पर भर जाता है। दुकानदारों को खुद पंप लगाकर पानी बाहर निकालना पड़ता है। स्थानीय दुकानदार अनिल कुमार बताते हैं कि नगर परिषद और डीसी मोहाली को कई बार शिकायत दी गई, लेकिन अब तक कोई कार्रवाई नहीं हुई। बदबू और गंदगी से माहौल बेहद खराब हो गया है। स्थानीय लोगों ने प्रशासन से मांग की है कि नाली की तत्काल सफाई करवाई जाए और जल निकासी व्यवस्था को बेहतर बनाया जाए, ताकि भविष्य में ऐसी स्थिति न बने।

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घग्घर नदी किनारे न जायें लोग, डीसीपी ने दी चेतावनी

पंचकूला (हप्र) : पुलिस ने आज घग्घर नदी क्षेत्र का निरीक्षण किया। निरीक्षण अभियान के दौरान पुलिस ने नदी के किनारे और आसपास बसे इलाकों का जायज़ा लिया और वहां रह रहे नागरिकों को जलस्तर में संभावित वृद्धि को लेकर सचेत किया। निरीक्षण के दौरान सेक्टर-1 चौकी पुलिस टीम ने स्थानीय लोगों से संवाद कर उन्हें बताया कि बरसात के समय घग्घर नदी में पानी का बहाव अचानक तेज़ हो सकता है, जिससे आस-पास के निचले इलाकों में जलभराव या बाढ़ जैसी स्थिति उत्पन्न हो सकती है। पुलिस ने नागरिकों को इस दौरान किसी भी प्रकार की लापरवाही न बरतने की सख्त हिदायत दी और कहा कि नदी किनारे अनावश्यक रूप से जाना खतरे से खाली नहीं है। डीसीपी सृष्टि गुप्ता ने अपील की कि यदि हम पहले से सतर्क और जागरूक रहें, तो उनके प्रभाव को काफी हद तक कम किया जा सकता है।

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