कश्मीर की वादियों में गर्म होने लगा सियासी पारा
पहले चरण के चुनाव की अधिसूचना जारी होने के बाद से जम्मू-कश्मीर में सियासी पारा चढ़ने लगा है। एक ओर कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे एवं लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी नब्ज टटोलने पहुंचे, वहीं सियासी बयानबाजी और उम्मीदवारों की घोषणा का भी दौर शुरू हो गया। उधर, आम जनजीवन अपनी गति में है।
गठबंधन की संभावनाएं तलाशेगी कांग्रेस
श्रीनगर, 21 अगस्त (एजेंसी)
लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी और कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे बुधवार को जम्मू कश्मीर के दो दिवसीय दौरे पर श्रीनगर पहुंचे। कांग्रेस के ये दोनों नेता इस दौरान नेशनल कॉन्फ्रेंस के साथ गठबंधन की संभावना तलाशेंगे।
दोनों वरिष्ठ नेता बृहस्पतिवार को कश्मीर घाटी के 10 जिलों के पार्टी नेताओं और कार्यकर्ताओं के साथ बैठक कर व्यापक चर्चा करेंगे। एक कांग्रेस नेता ने कहा कि खड़गे और राहुल चुनाव के लिए जमीनी स्तर पर तैयारी के बारे में कार्यकर्ताओं से पूरी जानकारी लेंगे। ये चुनाव केंद्र शासित प्रदेश में दस साल के अंतराल के बाद हो रहे हैं। गौर हो कि जम्मू कश्मीर विधानसभा चुनाव तीन चरण में- 18 सितंबर, 25 सितंबर और एक अक्तूबर को होंगे। मतगणना चार अक्तूबर को होगी।
अनुच्छेद 370 पर कांग्रेस का रुख स्पष्ट करें राहुल : भाजपा
भाजपा ने बुधवार को कांग्रेस नेता राहुल गांधी से अनुच्छेद 370 एवं अनुच्छेद 35ए पर अपनी पार्टी का रुख स्पष्ट करने के लिये कहा। भाजपा महासचिव एवं केंद्रशासित प्रदेश के लिए पार्टी के संगठन प्रभारी तरुण चुघ ने कहा कि इस दौरे से प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व वाली सरकार द्वारा क्षेत्र में लाई गई ‘शांति और विकास’ से राहुल गांधी को परिचित होने का अवसर मिलेगा। उन्होंने आरोप लगाया कि ‘तीन परिवारों’ ने पिछले कई दशकों से अपनी नीतियों से जम्मू-कश्मीर में अलगाववाद और आतंकवाद के माहौल को भड़काया है जबकि 2014 में केंद्र में भाजपा के नेतृत्व में सरकार बनने के बाद वहां स्थितियां बदली हैं। जम्मू एवं कश्मीर में भाजपा नेता अक्सर कांग्रेस, नेशनल कॉन्फ्रेंस और पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) पर निशाना साधने के लिए ‘तीन परिवारों’ का जिक्र करते हैं।
कब्रिस्तानों जैसा सन्नाटा नहीं चाहते : महबूबा
पीपुल्स डेमोक्रेटिक्स पार्टी (पीडीपी) की अध्यक्ष महबूबा मुफ्ती ने बुधवार को दावा किया कि जम्मू-कश्मीर पिछले पांच सालों से एक मुश्किल दौर से गुजर रहा है और कहा कि उनकी पार्टी कब्रिस्तानों के सन्नाटे जैसा अमन नहीं, बल्कि गरिमा के साथ शांति चाहती है। मुफ्ती ने यहां पीडीपी मुख्यालय में एक कार्यक्रम में यह टिप्पणी की। कार्यक्रम के दौरान राजौरी के पूर्व विधायक चौधरी कमर हुसैन फिर से पार्टी में शामिल हुए। साल 2020 में, हुसैन और पांच अन्य पीडीपी नेताओं को श्रीनगर में जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल और विदेशी दूतों के एक प्रतिनिधिमंडल से मिलने पर पार्टी से निष्कासित कर दिया गया था।
अपनी पार्टी ने आठ उम्मीदवारों की पहली सूची जारी की
‘जम्मू-कश्मीर अपनी पार्टी’ ने आठ उम्मीदवारों की पहली सूची बुधवार को जारी की। एक प्रवक्ता ने बताया कि पार्टी की संसदीय मामलों की समिति के अध्यक्ष मोहम्मद दिलावर मीर ने इस सूची की सिफारिश की थी और पार्टी अध्यक्ष सैयद मोहम्मद अल्ताफ बुखारी ने इसे मंजूरी दी है। ‘अपनी पार्टी’ ने घोषणा-पत्र भी जारी किया।
नियंत्रण केंद्र स्थापित
चुनावों के लिए लागू आदर्श आचार संहिता के उल्लंघन की जांच के लिए बुधवार को जम्मू और श्रीनगर में कमान एवं नियंत्रण केंद्र स्थापित किए गए। चुनावी प्रक्रिया की शुचिता को बनाए रखने के लिए दोनों राजधानी शहरों में मुख्य निर्वाचन अधिकारी के कार्यालयों में ये केंद्र स्थापित किए गए हैं।