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‘एक पेड़ मां के नाम’, नि:शुल्क दिए जाएंगे पौधे : संजय सिंह

07:46 AM Jul 09, 2024 IST
गुरुग्राम के गांव सांपकी नगली में सोमवार को पौधारोपण के बाद समारोह को संबोधित करते वन पर्यावरण एवं खेल मंत्री संजय सिंह। - हप्र
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गुरुग्राम, 8 जुलाई (हप्र)
हरियाणा सरकार ने सात दशक से अधिक पुराने वृक्षों के पालन-पोषण के लिए पेंशन स्कीम शुरू कर पर्यावरण संरक्षण के प्रति अपनी वचनबद्धता को दोहराया है। मुख्यमंत्री नायब सिंह के नेतृत्व में सरकार प्रदेश को हरा-भरा बनाने के लिए वन मित्र जैसी अनेक योजनाएं लेकर आई है। ‘एक पेड़ मां के नाम’ अभियान की शुरूआत करते हुए वन, पर्यावरण एवं खेल मंत्री संजय सिंह ने आज गांव सांपकी नांगली के कुंडावाला मंदिर प्रांगण में पौधारोपण के बाद ये शब्द कहे। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी ने देश में ‘एक पेड़ मां के नाम’ अभियान चलाया है। हरियाणा में इस अभियान के तहत लाखों पेड़ लगवाए जाएंगे। उन्होंने कहा कि जो भी नागरिक यह वृक्ष लगाएंगे, वे अपनी माता की स्मृति को तो याद रखेंगे ही, यह धरती मां के लिए भी एक अनुपम सेवा होगी। संजय सिंह ने कहा कि हरियाणा सरकार ने वन मित्र के नाम से भी एक योजना शुरू की है। जिसमें पौधों की देखभाल करने के लिए एक नागरिक को कुछ निश्चित धनराशि प्रदान की जाएगी। उन्होंने कहा कि हरियाणा में पहली बार वृक्षों के नाम से पेंशन स्कीम शुरू की गई है। जिसमें 75 साल पुराने पेड़ की देखरेख करने वाले व्यक्ति को 3200 रूपए पेंशन दी जाएगी। खेल मंत्री ने कहा कि अरावली वन क्षेत्र में सरकार की वाइल्ड सेंचुरी बनाने की योजना है। अधिक से अधिक पेड़ लगाकर हमें इस क्षेत्र को पर्यावरण की दृष्टि से समृद्ध बनाना चाहिए।
वहीं, सूचना, जनसंपर्क एवं भाषा विभाग की ओर से चलाए जा रहे विशेष प्रचार अभियान के तहत आज गांव सांपकी नांगली में पर्यावरण जागरूकता को लेकर नाटक का मंचन किया गया।
इसमें ग्रामवासियों को वन विभाग की योजनाओं का लाभ उठाते हुए वृक्षारोपण के लिए प्रेरित किया गया। गांव सांपकी नांगली के कुंडावाला मंदिर प्रांगण में वन, पर्यावरण एवं खेल मंत्री संजय सिंह के समक्ष आज सूचना, जनसंपर्क एवं भाषा विभाग की टीम ने नाटक का सजीव मंचन किया। पर्यावरण जागरूकता को लेकर दिखाए गए इस नाटक में कलाकारों ने बताया कि बूढ़े हो चुके पेड़ भी हमारी अमूल्य प्राकृतिक संपदा है। हरियाणा सरकार ने अब 75 साल पुराने वृक्षों के लिए पेंशन स्कीम शुरू की है। पुराने पेड़ों के मालिक वन विभाग की वेबसाइट पर अपना पंजीकरण करवा कर इस स्कीम का लाभ ले सकते हैं। उनको पेड़ की देखभाल के लिए 2700 रूपए हर साल दिए जाएंगे। कलाकारों ने बताया कि वृक्ष को काटना उचित नहीं है। यह प्रयास किया जाए कि भवन निर्माण करते समय पेड़ों को बचाया जाए।

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