नूंह दंगे अल्पसंख्यक आयोग ने खोली गठबंधन सरकार की पोल : आफताब
गुरुग्राम, 13 अक्तूबर (हप्र)
राष्ट्रीय अल्पसंख्यक आयोग के चेयरमैन इकबाल सिंह लालपुरा ने कहा कि नूंह में कोई संगठित अपराध की घटना नहीं थी बल्कि सोशल मीडिया के जरिये किए गए दुष्प्रचार से बात बिगड़ गई थी। आयोग ने स्थानीय प्रशासन स्तर पर कुछ कमियां होने की बात भी कही है। आयोग ने हिंसा में बाहरी लोगों के शामिल होने की बात कही और स्थानीय लोगों के सद्भाव की बात स्वीकार की है। आयोग की उपरोक्त रिपोर्ट पत्रकारों को वितरित करने के बाद विधानसभा में कांग्रेस विधायक दल के उप नेत और नूंह से कांग्रेस विधायक आफताब अहमद ने आज एक पत्रकार वार्ता में कई खुलासे से किए। उन्होंने इसी रिपोर्ट को आधार बनाकर कहा कि सरकार के झूठ की पोल केंद्रीय अल्पसंख्यक आयोग ने खोल दी है। भाजपा-जजपा गठबंधन सरकार अपनी विफलता छिपाने के लिए कांग्रेस व उनके नेताओं पर गलत दोषारोपण कर रही थी जबकि पुलिस अधिकारियों ने खुफिया कैमरे पर इस बात को स्वीकार किया था कि सरकार को पूरा गुप्त इनपुट दे दिया गया था, फिर भी सरकार सोई रही।
विधायक अहमद ने कहा कि नूंह सहित प्रदेश के आधा दर्जन जिलों में हिंसा व टकराव दुर्भाग्यपूर्ण व बेहद दुखद घटना स्थानीय भाजपा सरकार की बड़ी विफलता थी और कांग्रेस पार्टी पहले दिन से हाईकोर्ट जज द्वारा न्यायिक जांच की मांग कर रही है ताकि दूध का दूध और पानी का पानी हो सके। विधायक ने कहा सरकार बेकसूर लोगों को लगातार झूठे मामलों में फंसा रही है इसे तत्काल प्रभाव से बंद किया जाए और दोषी चाहे जो भी हों, उन पर ही कार्रवाई की जाए।
पीसीसी सदस्य महताब अहमद ने कहा कि न्यायिक प्रक्रिया व न्यायपालिका पर उन्हें पूरा भरोसा है। न्यायालय व जनता की अदालत में सच्चाई की जीत जरूर होगी। इस दौरान हाजी एजाज सलम्बा, हाजी साहाबू कैराका, हाजी अब्बास जयसिंहपुर, शोराब सरपंच मालब, वहीद सलम्बा, शेरू सरपंच बीबीपुर, संजय सरपंच बैंसी, खुर्शीद सरपंच बाउपुर, सद्दीक सरपंच चीला, आजाद सरपंच पलड़ी, यूनुस सरपंच कोटला, खुर्शीद अलावलपुर, रुब्बड़ निजामपुर, साकिर नंगली, हाजी बसीर सालाहेड़ी, तारिफ व अन्य कांग्रेसजन मौजूद रहे।