कनीना, 24 दिसंबर (निस): गांव बागोत में 26 वर्षीय युवक मोहित (Mohit Suicide Case) द्वारा फांसी लगाकर आत्महत्या करने के ग्यारहवें दिन मंगलवार को भी शव का अंतिम संस्कार नहीं हो सका। अब मृतक के परिजन प्राथमिकी दर्ज होने के बाद शव को मणिकर्णिका घाट, वाराणसी में अंतिम संस्कार करवाने की बात कह रहे हैं।बागोत के युवक का बीती 14 दिसबंर को हुआ था पोस्टमार्टमपरिजनों का कहना है कि प्राथमिकी दर्ज न होने की सूरत में आजकल में तेरहवीं कर न्याय के लिए सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया जाएगा। अंतिम संस्कार न होने से प्रशासनिक अधिकारियों तथा समाज के प्रबुद्ध लोगों की टेंशन बढ़ गई है। जिले के प्रशासनिक अधिकारियों के अलावा गांव के अन्य मौजिज लोगों तथा रिश्तेदारों द्वारा मृतक के पिता कैलाश शर्मा को समझाने के काफी प्रयास किए गए। जिनका नतीजा अभी तक शून्य रहा। उनकी ओर से पहले प्राथमिकी दर्ज करने करने की बात कही जा रही है जबकि पुलिस साक्ष्य पेश करने की कह रही है।अस्पताल में रखा है शव सोमवार को एसडीएम अमित कुमार, नायब तहसीलदार दलबीर सिंह दुग्गल, थाना इंचार्ज मुकेश कुमार, कानूनगो राजसिंह,पटवारी प्रदीप कुमार के अलावा जसराम पहलवान, श्रीराम शर्मा सहित अन्य लोगों ने उन्हें समझाकर शव का अंतिम संस्कार करवाने को कहा। लेकिन परिजन नहीं माने। मृतक 26 वर्षीय युवक मोहित का शव पोस्टमार्टम होने के बाद पिछले 10 दिन से उप नागरिक अस्पताल कनीना के फ्रीजर में रखा हुआ है। जिस पर अस्पताल तथा पुलिस कर्मचारी नजर बनाए हुए हैँ।Mohit Suicide Case-नहीं मिला था सुसाइड नोटमृतक के पिता कैलाश शर्मा की ओर से प्रदेश के पूर्व मंत्री सहित 8 व्यक्तियों पर युवक को आत्महत्या के लिए जिम्मेदार ठहराने के आरोप लगाए जा रहे हैं। जबकि इस बारे में मृतक युवक से किसी प्रकार का सुसाइड नोट आदि नहीं मिला। केस दर्ज करने के लिए पुलिस मृतक के परिजनों के साक्ष्य मांग रही है। वहीं परिजन केस दर्ज करने की मांग पर अड़े हुए हैं। कैलाश शर्मा अब न्याय के लिए सुप्रीम कोर्ट की शरण में जाएंगे। एसडीएम तथा डीएसपी सहित जिला प्रशासन परिजनों से संपर्क साधे हुए हैं।मोहित सुसाइड केस रविवार सांय तक नहीं हुआ अंतिम संस्कार