मासिक धर्म स्वच्छता नीति: केंद्र ने राज्यों से कार्यान्वयन की मांगी योजना
नयी दिल्ली, 8 दिसंबर (एजेंसी)
केंद्र सरकार ने राज्यों से स्कूली लड़कियों के लिए मासिक धर्म स्वच्छता नीति के प्रभावी कार्यान्वयन के लिए कार्ययोजना प्रस्तुत करने का आग्रह किया है। इस नीति का उद्देश्य सरकारी और सरकारी सहायता प्राप्त स्कूलों में लड़कियों को कम लागत वाले स्वच्छता उत्पादों और लैंगिक-संवेदनशील स्वच्छता सुविधाओं तक सुनिश्चित पहुंच प्रदान करना है।
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने सभी राज्यों को पत्र भेजकर कहा है कि सुप्रीम कोर्ट द्वारा 12 नवंबर को दिए गए आदेश के बाद, हर राज्य और केंद्र शासित प्रदेश को अपनी विशिष्ट आवश्यकताओं के अनुसार कार्ययोजना तैयार करनी होगी। कोर्ट ने यह भी कहा था कि नीति को प्रभावी रूप से लागू करने के लिए यह कार्ययोजना जरूरी है।
स्वास्थ्य मंत्रालय ने यह भी बताया कि 2 नवंबर को मंजूरी प्राप्त इस नीति का उद्देश्य सरकारी स्कूलों में मासिक धर्म स्वच्छता को मुख्यधारा में लाना है। इसके तहत, स्कूलों में स्वच्छता उत्पादों की निरंतर उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिए एक सुव्यवस्थित तंत्र बनाने की सिफारिश की गई है। राज्यों को यह सुनिश्चित करना होगा कि मासिक धर्म उत्पादों की वास्तविक आवश्यकता का आकलन कर लड़कियों को नियमित रूप से इन उत्पादों तक पहुंच मिले।