Manisha Koirala: न प्यार मिला ना पति... 2 साल में ही शादी टूटने पर छलका मनीषा का दर्द, "बोली- अब नहीं करूंगी..."
चंडीगढ़, 17 दिसंबर (ट्रिन्यू)
Manisha Koirala: मनीषा कोइराला ने अपनी प्रोफेशनल और निजी जीवन में कई तूफानों का सामना किया है और मजबूत होकर उभरी हैं। संजय लीला भंसाली की 'हीरामंडी: द डायमंड बाज़ार' से उन्होंने ना सिर्फ शानदान कमबैक किया बल्कि फैंस के दिल में फिर से जगह भी बनाई। खामोशी अभिनेत्री कभी भी अपने विचार व्यक्त करने से नहीं कतराती हैं। अब उन्होंने शादी को लेकर अपने विचार व्यक्त किए हैं।
मनीषा ने सभी विषयों पर खुलकर बात करते हुए कहा, "जीवन में एक समय आता है जब आप परिपक्व होते हैं, जब आप सब कुछ अनुभव कर चुके होते हैं - अच्छा, बुरा, सब कुछ। तब, आपको ईमानदारी और प्रामाणिकता का मूल्य पता चलता है कोई भी आपको इसके बारे में नहीं सिखा सकता या आपको ज्ञान नहीं दे सकता, आपको खुद ही यह महसूस करना होगा। मैं आभारी हूं कि लोगों ने मेरी ईमानदारी को स्वीकार किया है।”
मनीषा ने साल 2010 में सम्राट दहल से शादी की थी लेकिन दो साल बाद ही दोनों का तलाक हो गया। इस बारे में उन्होंने कहा, “मैं इस विश्वास से आती हूं कि हर इंसान अलग होता है और उसके अपने मूल्य होते हैं। मेरा भाई खुशहाल शादीशुदा जीवन बिता रहा है। मेरे माता-पिता के जीवन में उतार-चढ़ाव आए होंगे, लेकिन उनकी शादी सबसे अच्छी शादियों में से एक थी। वे हर अच्छे-बुरे समय में एक-दूसरे के साथ रहे हैं और मैं कहूंगी कि वे अभी भी एक-दूसरे से बहुत प्यार करते हैं। इसलिए, ऐसा नहीं है कि मैं शादी को महत्व नहीं देती, लेकिन अब ये मेरे लिए खास मायने नहीं रखती। मैं ऐसी संगति चाहती हूं, जो जीवन भर के लिए प्रतिबद्ध हो।”
आगे मनीषा कहती हैं, “मैं अभी उस मुकाम पर हूं जहां या तो सब कुछ है या कुछ भी नहीं – मैं अब आधे-अधूरे मन से कुछ भी नहीं कर सकती। मैंने तय किया है कि जब मैं कुछ करूंगी तो उसमें अपना सब कुछ दूंगी। मैं इसे आसान नहीं बनाना चाहती। मैं अब अपने किरदारों के साथ पहले से कहीं ज़्यादा गहराई से जुड़ी हुई हूँं। एक अभिनेता के तौर पर, मैं अलग-अलग किरदार बनाना चाहती हूं जहां कोई मनीषा कोइराला को न देख सके।”
उन्होंने कहा, " हीरामंडी की सफलता के बावजूद वह प्रोजेक्ट लेने की जल्दी में नहीं हैं। फिलहाल, मेरा प्रोजेक्ट वापस शेप में आना और स्वस्थ और ठीक रहना है। जब आप दो या तीन साल तक किसी फिल्म पर कड़ी मेहनत करते हैं, खासकर जब आप बड़े हो जाते हैं, तो अपने स्वास्थ्य को पूरी तरह से पटरी पर लाने में समय लगता है।"