रोहिंग्याओं को पानी-बिजली देना जम्मू-कश्मीर सरकार की जिम्मेदारी : फारूक
कठुआ/जम्मू, 10 दिसंबर (एजेंसी)
नेशनल कांफ्रेंस (नेकां) के अध्यक्ष फारूक अब्दुल्ला ने मंगलवार को कहा कि क्षेत्र में रह रहे रोहिंग्या शरणार्थियों को पानी और बिजली जैसी बुनियादी सुविधाएं उपलब्ध कराना जम्मू-कश्मीर सरकार की जिम्मेदारी है।
अब्दुल्ला ने कठुआ के दौरे के दौरान संवाददाताओं से कहा, ‘भारत सरकार शरणार्थियों को यहां लेकर आई। हम उन्हें यहां नहीं लाए। उन्होंने उन लोगों को यहां बसाया है और जब तक वे यहां हैं, उनके लिए पानी और बिजली मुहैया कराना हमारा कर्तव्य है। यह हमारी जिम्मेदारी है।’ उनकी यह टिप्पणी ऐसे समय में आई है जब एक दिन पहले ही भाजपा ने रोहिंग्याओं और बांग्लादेशियों के बसने को एक बड़ी ‘राजनीतिक साजिश’ करार दिया था। सरकारी आंकड़ों के अनुसार 13,700 से ज्यादा विदेशी जम्मू और दूसरे जिलों में बसे हुए हैं जिनमें से अधिकतर रोहिंग्या और बांग्लादेशी नागरिक हैं। अब्दुल्ला ने जम्मू-कश्मीर का राज्य का दर्जा बहाल करने की भी जोरदार वकालत की और कहा कि यहां केवल एक ही सत्ता केंद्र होगा। उन्होंने कहा, ‘डबल इंजन वाली सरकार यहां काम नहीं करेगी। राज्य का दर्जा बहाल किया जाएगा। जम्मू कश्मीर में सत्ता का केवल एक ही केंद्र होगा।’ बांग्लादेश में हिंदुओं पर हो रहे अत्याचारों के बारे में पूछे जाने पर अब्दुल्ला ने केंद्र सरकार की आलोचना करते हुए कहा, ‘भारत सरकार को इस पर गौर करना चाहिए। यह आरएसएस के नेतृत्व वाली सरकार है। हमें इस मुद्दे पर ध्यान देने की जरूरत है।’