एचएयू की वैज्ञानिक डॉ. दिव्या फोगाट की मौत को लेकर पीएम को ज्ञापन देगा आईएसओ
हिसार, 13 अप्रैल (हप्र)
आईएसओ के प्रदेश अध्यक्ष साहिलदीप कसवा ने चौ. चरण सिंह हरियाणा विश्वविद्यालय प्रशासन पर भ्रष्टाचार एवं वैज्ञानिकों, कर्मचारियों व छात्रों पर अत्याचार का आरोप लगाया है। कसवा ने कहा कि उन्होंने 7 अक्टूबर 2023 को एचएयू के गेट नंबर 4 पर किसानों के साथ मिलकर प्रदर्शन किया था जिसमें मुख्य मांगें किसान मेले के आयोजन में देरी करना, बीज की कालाबजारी और छात्रों पर हो रहे अत्याचार था और ये सारी बातें बाद में सच साबित हुईं।
कसवा ने आरोप लगाया कि किसान मेले के दौरान बीज की कालाबाजारी की गई। किसानों को मेले में पीने का पानी तक उपलब्ध नहीं करवाया गया और किसान मेले के फर्जी बिलों पर सिग्नेचर के लिए दबाव डाला गया और सिग्नेचर न करने पर ट्रांसफर कर दी गई।
साहिलदीप कसवा ने आरोप लगाया कि एचएयू की वैज्ञानिक डॉ. दिव्या फोगाट की मौत के लिए भी कुलपति जिम्मेवार है। इसकी निष्पक्ष जांच के लिए ज्ञापन दिए गए और कुलपति की शवयात्रा भी निकाली गई। डॉ. दिव्या फोगाट ने अपनी मौत के जिम्मेवार लोगों के नाम भी लिखे और डायरेक्टर ऑफ रिसर्च और डीन एग्रीकल्चर को ई-मेल भी की, पर अब तक कोई कार्रवाई नहीं की गई। ऐसे ही जीप ड्राइवर सुनील हुड्डा पर भी इन्होंने बहुत अत्याचार किए, कभी ट्रांसफर करके, कभी डिफाल्टर फैमिली कहकर, कभी वेतन रोक कर इनके बेटे की मौत के जिम्मेवार लोगों पर अब तक कोई कार्रवाई नहीं हुई। साहिलदीप ने बताया कि यहां रिटायरमेंट के बाद भी साइंटिस्ट को 65 साल तक रखा गया, जबकि छात्रों को मौका नहीं दिया गया।
कुलपति की पुन: नियुक्ति पर सवाल
साहिलदीप ने आरोप लगाया कि कुलपति को अगले 4 साल के लिए दोबारा लगा दिया गया जबकि ये यूजीसी रेगुलेशन-2018 की शर्तें पूरी नहीं करते। इन्होंने डॉ. एमएस स्वामिनाथन का भी अवाॅर्ड लाने का दावा किया जबकि वो फर्जी था। साहिलदीप ने आरोप लगाया कि कुलपति ने अपनी धर्मपत्नी को डायरेक्ट कैंपस स्कूल में लगा दिया जो कि नियमों के विपरीत था। इनकी पत्नी ने इनके साथ ही सरकारी निवास में रहते हुए हाउस रेंट गलत तरीके से ले लिया और बाद में शिकायत होने पर जमा करवा दिया। एचएयू कुलपति के खिलाफ हरियाणा के विधानसभा में भी विधायक अर्जुन चौटाला और बाकी विधायकों ने भी ये मुद्दे बड़ी बेबाकी से सामने उठाए थे। आईएसओ प्रदेशाध्यक्ष ने कहा कि उपरोक्त सभी मुद्दों को प्रधानमंत्री मोदी के हिसार दौरे के दौरान उनके समक्ष रखा जाएगा और इसकी सीबीआई से जांच करवाने के लिए प्रधानमंत्री को आईएसओ संगठन द्वारा ज्ञापन दिया जाएगा।