Indian Tourist Destination : गुलाल या फूल नहीं, भारत के इन शहरों में अलग अजीबो-गरीब चीजों से खेली जाती है होली
चंडीगढ़, 11 मार्च (ट्रिन्यू)
होली, भारत का एक प्रमुख और रंगों से भरा पर्व है। कुछ शहरों में होली को खास तरीके से मनाने की परंपरा है। यहां लोग रंगों के बजाए अन्य चीजों से होली खेलते हैं। ऐसे कुछ शहरों में होली का उत्सव एक अलग ही रंग में रंगा होता है। यहां हम उन शहरों के बारे में बात करेंगे, जहां होली रंगों या फूलों से नहीं बल्कि अन्य चीजों से खेली जाती है।
बरेली, उत्तर प्रदेश
बरेली में आलू और आटे की गोलियों की होली एक अनोखी व खास परंपरा है। इसे "आलू-आटा की होली" कहा जाता है। यह होली विशेष रूप से बरेली के ग्रामीण इलाकों में खेली जाती है। इस परंपरा में लोग एक-दूसरे पर आलू और आटे की गोलियां फेंकते हैं, जिससे एक हल्की-फुल्की मस्ती का माहौल बनता है।
मथुरा-वृंदावन, उत्तर प्रदेश
यहां की होली विशेष रूप से गुलाल और गुड़ की गोलियां से खेली जाती है। हालांकि वृंदावन में कृष्ण की लीलाओं के अनुसार लोग अधिकतर दूध और छाछ से भी एक दूसरे को रंगते हैं और खेलते हैं।
बरसाना, उत्तर प्रदेश
बरसाना, उत्तर प्रदेश में स्थित एक प्रसिद्ध धार्मिक स्थल है, जहां होली का पर्व "लठमार होली" के रूप में मनाया जाता है। यहां पर महिलाएं पुरुषों को लाठियों से मारती हैं। पुरुष इन लाठियों से बचने के लिए उन्हें रंगीन पगड़ी पहनकर, उन्हें हंसी-खुशी में चुनौती देते हैं। इस दिन लोग गाने, नाचने और हंसी-मजाक के साथ एक दूसरे पर रंग नहीं, बल्कि गुलाल और अन्य रंगीन पाउडर डालते हैं। यहां रंगों से ज्यादा लाठियां और मस्ती का माहौल रहता है।
शिमला, हिमाचल प्रदेश
यहां लोग चने और पानी के गुब्बारों से एक-दूसरे पर पानी फेंकते हैं। चने से खेलना इस पर्व की एक अद्भुत परंपरा है, जो यहां के लोगों के बीच खास उत्साह और भाईचारे को बढ़ाता है। शिमला के लोग इस दिन को हंसी-मजाक और खुशनुमा माहौल में मनाते हैं।
राजस्थान
राजस्थान के कुछ हिस्सों में होली के दौरान "गोगा के मेला" या "मठारी होली" जैसे त्योहार मनाए जाते हैं, जिसमें लोग घी और दूध से होली खेलते हैं। यह परंपरा विशेष रूप से ग्रामीण इलाकों में होती है, जहां लोग एक दूसरे के साथ मस्ती करते हुए स्वादिष्ट व्यंजनों का आनंद भी लेते हैं।
मैंगलोर, कर्नाटक
कर्नाटका के मैंगलोर में होली का उत्सव रंगों से नहीं बल्कि अनाज और फूलों से मनाया जाता है। यहां के लोग एक दूसरे पर चावल और फूलों की पंखुड़ियां फेंकते हैं। यह परंपरा यहां की संस्कृति और लोकाचार से जुड़ी हुई है।
अलीगढ़, उत्तर प्रदेश
अलीगढ़ में तुलसी की पत्तियों और चंदन से होली खेली जाती है। इस दिन लोग एक-दूसरे को तुलसी की पत्तियों और चंदन से तिलक करते हैं और विशेष मंत्र पढ़ा जाता है। इसका उद्देश्य शांति और भाईचारे को बढ़ावा देना होता है।