IIT सांस्कृतिक उत्कृष्टता कोटे से भी मिलेगा आईआईटी-मद्रास में प्रवेश
IIT भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आईआईटी) मद्रास स्नातक पाठ्यक्रमों में दाखिले में 'ललित कला और संस्कृति उत्कृष्टता (एफएसीई)' कोटा शुरू करने वाला देश का पहला आईआईटी बन गया है।
संस्थान के निदेशक वी. कामकोटि के मुताबिक, एफएसीई कोटा शैक्षणिक सत्र 2025-26 से शुरू किया जाएगा। उन्होंने कहा कि इस कोटे का मकसद ललित कला और संस्कृति में उत्कृष्टता हासिल करने वाले छात्रों को पुरस्कृत एवं प्रोत्साहित करना है। आईआईटी-मद्रास इससे पहले शैक्षणिक सत्र 2024-25 से स्नातक पाठ्यक्रमों में दाखिले में खेल कोटा शुरू करने वाला पहला आईआईटी भी बना था।
कामकोटि के अनुसार, एफएसीई कोटा के तहत आईआईटी-मद्रास के सभी बीटेक और बीएस पाठ्यक्रमों में दो-दो सीटें आवंटित की जाएंगी। इनमें एक सीट लड़कियों के लिए होगी। कामकोटि ने कहा, 'एफएसीई के तहत प्रवेश प्रक्रिया संयुक्त सीट आवंटन प्राधिकरण (जेओएसएए) पोर्टल के जरिये नहीं, बल्कि आईआईटी-मद्रास के बनाए एक अलग पोर्टल पर होगी।'
उन्होंने बताया, 'प्रत्येक अभ्यर्थी को उसकी श्रेणी के अनुसार ललित कला और संस्कृति में उसकी उत्कृष्टता के आधार पर अंक दिया जाएगा। विभिन्न ललित कला एवं संस्कृति कार्यक्रमों में अभ्यर्थियों के प्रदर्शन या उन्हें प्राप्त पुरस्कारों या छात्रवृत्तियों के आधार पर उन्हें मिले कुल अंक के आधार पर एक अलग एफएसीई रैंक सूची (एफआरएल) तैयार की जाएगी।'
कामकोटि ने कहा कि पात्रता मानदंड के अनुसार अभ्यर्थी का जेईई (एडवांस्ड)-2025 उत्तीर्ण करना और कॉमन रैंक लिस्ट (सीआरएल) या श्रेणी-वार रैंक सूची में स्थान हासिल करना अनिवार्य है। कामकोटि ने बताया, 'अभ्यर्थियों को ललित कला और सांस्कृतिक गतिविधियों में उनकी उत्कृष्टता के लिए चयनित श्रेणियों में से कम से कम एक में मान्यता हासिल होनी चाहिए।'