IAF FighterJet Crash रोहतक के लाल की आखिरी उड़ान,राजस्थान में विंग कमांडर लोकेंद्र सिंह सिंधु शहीद
ट्रिब्यून न्यूज़ सर्विस
चंडीगढ़, 9 जलाई
हरियाणा के रोहतक शहर का एक होनहार बेटा देश की रक्षा में शहीद हो गया। विंग कमांडर लोकेंद्र सिंह सिंधु (44) राजस्थान के चूरू में भारतीय वायुसेना के जगुआर ट्रेनर फाइटर जेट क्रैश में वीरगति को प्राप्त हो गए। हादसा बुधवार दोपहर को हुआ जब वे नियमित प्रशिक्षण मिशन पर थे। जैसे ही यह समाचार रोहतक पहुंचा, देव कॉलोनी में मातम पसर गया और लोगों की आंखें नम हो गईं।
बेटे के जन्म के 29 दिन बाद पहुंची दुखद खबर
शहादत की यह खबर और भी भावुक कर देने वाली है, क्योंकि लोकेंद्र सिंह 10 जून को पहली बार पिता बने थे। उनकी पत्नी डॉ. सुरभि सिंधु ने बेटे को जन्म दिया था।
जहां घर में कुछ ही दिन पहले जीवन की नई शुरुआत की खुशी थी, अब वहीं शहादत की पीड़ा ने हर आंख नम कर दी है।
हादसे की जानकारी डॉ. सुरभि को उनके भाई ने दी, जो स्वयं वायुसेना में सूरतगढ़ एयरबेस पर तैनात हैं।
देव कॉलोनी में शोक की लहर, पिता की आंखें नम
शहीद लोकेंद्र का परिवार रोहतक की देव कॉलोनी में रहता है। उनके पिता जोगेंद्र सिंह सिंधु महर्षि दयानंद विश्वविद्यालय (एमडीयू) में सुपरिटेंडेंट पद से सेवानिवृत्त हुए हैं।
शहादत की खबर मिलते ही देव कॉलोनी में लोगों का तांता लग गया। जान-पहचान वाले, मोहल्लेवासी, रिश्तेदार – सभी सिंधु परिवार के घर पहुंचकर उन्हें ढांढस बंधा रहे हैं।
पिता की आंखों में गर्व है, लेकिन बेटे के असमय चले जाने का दुख उससे भी बड़ा है।
शिक्षा से लेकर सेवा तक – रोहतक से देश की उड़ान
लोकेंद्र ने एमडीयू मॉडल स्कूल से शिक्षा प्राप्त की थी और बाद में एनडीए के ज़रिए वायुसेना में चयनित हुए। उनका पूरा जीवन अनुशासन, समर्पण और देशसेवा की मिसाल रहा। दो दशक से अधिक समय तक वे वायुसेना में सेवा देते रहे और एक प्रशिक्षक पायलट के रूप में कार्यरत थे।
जून में घर आए थे, जो बनी अंतिम मुलाकात
परिवार के अनुसार, बेटे के जन्म पर वे जून में छुट्टी लेकर रोहतक आए थे। मोहल्ले में लोगों ने उन्हें बधाई दी, रिश्तेदारों ने गले लगाया — लेकिन किसी को क्या पता था कि वह उनकी आखिरी मुलाकात होगी।