हुड्डा ने आरक्षण में आरक्षण की मांग करने वालों पर चलवाई थी लाठियां : कृष्ण बेदी
जींद, 23 नवंबर (हप्र)
कैबिनेट मंत्री कृष्ण बेदी ने कहा कि सीएम नायब सैनी और प्रदेश की भाजपा सरकार ने अनुसूचित जाति के आरक्षण में आरक्षण का प्रावधान कर डीएससी समाज को बहुत बड़ा तोहफा दिया है। इससे अनुसूचित जाति के वंचित वर्ग की 42 जातियों के लोगों को बहुत फायदा शिक्षा और रोजगार में होगा। बेदी शनिवार को एकलव्य स्टेडियम में मीडिया से बात कर रहे थे। वे यहां वाल्मीकि जयंती के राज्यस्तरीय कार्यक्रम की तैयारियों के मद्देनजर जायजा लेने के लिए पहुंचे थे। कृष्ण कुमार बेदी ने कहा कि आरक्षण में वर्गीकृत आरक्षण की मांग 1962 से शुरू हुई थी। पंजाब में 1975 में यह मांग मान ली गई थी। हरियाणा में इस मांग को पूरा करवाने के लिए लंबा आंदोलन हुआ। आखिर 1994 में तत्कालीन सीएम भजनलाल ने आरक्षण में आरक्षण का प्रावधान कर वंचित समाज को आरक्षण का लाभ दिया। बाद में जब भूपेंद्र हुड्डा प्रदेश के सीएम थे, तब आरक्षण में आरक्षण के प्रावधान को हाईकोर्ट में चुनौती दी गई। हाईकोर्ट ने नौकरियों में आरक्षण में आरक्षण के प्रावधान पर स्टे कर दिया। हाईकोर्ट ने केवल नौकरियों पर स्टे दिया था, लेकिन भूपेंद्र हुड्डा सरकार ने शिक्षा में भी आरक्षण में आरक्षण के प्रावधान को समाप्त कर दिया। पंजाब में भी आरक्षण में आरक्षण पर हाईकोर्ट ने रोक लगाई थी, लेकिन वहां की सरकार ने विधानसभा का विशेष सत्र बुलाकर एक्ट बनाया और आरक्षण में आरक्षण के प्रावधान को बरकरार रखा। बेदी ने कहा कि हरियाणा में आरक्षण में आरक्षण की मांग को लेकर जब डीएससी समाज ने आंदोलन किया, तो भूपेंद्र हुड्डा सरकार ने आंदोलनकरियों पर पुलिस की लाठियां चलवाईं। इस साल अक्तूबर में हुए विधानसभा चुनाव से पहले डीएससी समाज ने सीएम नायब सैनी से मुलाकात कर आरक्षण में आरक्षण के प्रावधान की मांग की थी। इससे पहले की सीएम नायब सैनी इस मांग को पूरा करते, हरियाणा में विधानसभा चुनाव के लिए आचार संहिता लग गई। विधानसभा चुनाव के बाद जैसे ही हरियाणा में भाजपा सरकार तीसरी बार बनी, तो सीएम नायब सैनी ने डीएससी समाज की मांग को मानते हुए आरक्षण में आरक्षण का प्रावधान कर दिया।