क्या कांग्रेस एक ही परिवार की पार्टी बनकर रह गई : सुशील इंदौरा
आनंद भार्गव/हप्र
सिरसा, 17 अप्रैल
सिरसा के पूर्व सांसद एवं वरिष्ठ कांग्रेस नेता डॉ. सुशील इंदौरा ने अपनी ही पार्टी के नेताओं के द्वारा किए जा रहे धरना प्रदर्शनों पर सवालिया निशान लगाए हैं। बृहस्पतिवार को जारी एक प्रेस विज्ञप्ति में डॉ. सुशील ने कहा कि ईडी द्वारा कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी व राहुल गांधी के खिलाफ की गई कार्रवाई पर धरने-प्रदर्शनों से कांग्रेस क्या साबित करना चाहती है। ईडी ने अभी मामले में आरोप पत्र दाखिल किया है। अगर वो निर्दोष हैं, तो बजाय धरने-प्रदर्शनों के संवैधानिक तरीके से लड़ाई लड़ें। डाॅ. इंदौरा ने कहा कि कांग्रेस के पास बड़े-बड़े नामी वकील व कानून के जानकार हैं, अगर उन्हें कानून व संविधान में विश्वास है तो वे इस लड़ाई को संवैधानिक तरीके से लड़कर अपना पक्ष मजबूती से रखें। धरने-प्रदर्शन करना संविधान की इज्जत करना नहीं, बल्कि सरकार पर दबाव बनाने का प्रयास किया जा रहा है। प्रदर्शन करने से आरोप वापस थोड़ी हो जाएंगे। जांच एंजेसियों का जांच में पूर्णतया सहयोग करें। ये अलग बात है कि हिंदुस्तान में कुछ भी हो सकता है, लेकिन सोनिया गांधी व राहुल गांधी का जब भी कहीं नाम आता है तो पार्टी के चंद नुमाइंदों धरने-प्रदर्शनों का दौर शुरू कर देते हैं। पूर्व सांसद डॉ. इंदौरा ने कहा कि क्या कांग्रेस एक ही परिवार की पार्टी बनकर रह गई है। अगर कांग्रेस के नेताओं ने भ्रष्टाचार नहीं किया होता तो पार्टी की ये दुर्दशा नहीं होती। अगर सामाजिक न्याय की बात की जाती और देश व प्रदेश हित में फैसले लिए होते तो आज कोई उंगली उठाने वाला नहीं होता।
विधायक गोकुल सेतिया भी दूरी बनाए हुए
बेशक सिरसा में सांसद व विधायक दोनों पदों पर कांग्रेस काबिज है। सिरसा विधायक गोकुल सेतिया अपनी ही पार्टी से दूरियां बनाए हुए हैं। सांसद कुमारी सैलजा द्वारा बुधवार को ली गई दिशा की बैठक व बाद में ईडी की कार्रवाई के खिलाफ किए विरोध प्रदर्शन में विधायक गोकुल सेतिया नहीं पहुंचे। कांग्रेस भवन में आयोजित कार्यक्रमों में भी वे नदारद रहते हैं। विधायक सेतिया अपने आप में वन मैन आर्मी हैं। वे कांग्रेसी नेताओं से दूरी बनाए रखते हैं, जिस कारण पार्टी नेता उनसे रूष्ट भी हैं।