हरियाणा के कॉलेज भी पीयू से जुड़ें
एस अग्निहोत्री/हप्र
मनीमाजरा (चंडीगढ़), 23 दिसंबर
उपराष्ट्रपति एवं पंजाब यूनिवर्सिटी (पीयू), चंडीगढ़ के चांसलर जगदीप धनखड़ ने शनिवार को हरियाणा के कॉलेजों को पंजाब यूनिवर्सिटी (पीयू) से जोड़ने की वकालत की। उन्होंने कहा कि वह हरियाणा के कॉलेजों को पीयू की मान्यता दिलाने के लिए पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान से बात करेंगे। उन्होंने उम्मीद जताई कि वे सकारात्मक प्रतिक्रिया देंगे।
धनखड़ यहां पूर्व छात्र संघ की ओर से आयोजित चौथे ग्लोबल एलुमनी मीट कार्यक्रम में बतौर मुख्य अतिथि पहुंचे। उन्होंने कहा कि पीयू को केंद्रीय विश्वविद्यालय बनाने की अफवाहें चल रही हैं, लेकिन केंद्र सरकार की ऐसी कोई मंशा नहीं है। उन्होंने पूर्व छात्रों से विश्वविद्यालय की आर्थिक मदद के लिए आगे आने को कहा। उन्होंने कहा कि सोने की चिड़िया कहलवाने वाले देश का पैसा हमने हवाई जहाज से विदेशी बैंकों में जाते देखा है और अब हम मौजूदा दौर में देश का बड़े पैमाने पर विकास अपनी आंखों से देख रहे हैं।
राज्यसभा सांसद विक्रमजीत सिंह साहनी ने पीयू को पंजाब की विरासत बताया और यहां पंजाबी भाषा का दर्जा बहाल करने की बात कही। उन्होंने शिव कुमार बटालवी की कविता, ‘कुछ रुख मैनूं पुत्त लगदे ने, कुछ रुख लगदे मावां’ सुनाई। कार्यक्रम के दौरान पूर्व छात्र अरुण वर्मा ने यूनिवर्सिटी को साढ़े तीन करोड़, वर्धमान समूह के प्रबंध निदेशक पॉल ओसवाल और आप सांसद साहनी ने एक-एक करोड़ की आर्थिक मदद देने की घोषणा की। इस मौके पर कुलपति प्रो. रेनू विग, केंद्र सरकार के प्रधान वैज्ञानिक सलाहकार प्रो. अजय सूद, पंजाब के कैबिनेट मंत्री अमन अरोड़ा, पुडुचेरी की पूर्व उपराज्यपाल किरण बेदी मौजूद रहे।
"उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ का बहुत धन्यवाद। पीयू में पंचकूला समेत हरियाणा के निकटवर्ती जिलों के कॉलेजों में पढ़ने वाले छात्र-छात्राओं को पंजाब की तर्ज पर दाखिले में कोटा मिलना चाहिए। हमारी यह पुरानी मांग है।"
- ज्ञानचंद गुप्ता, स्पीकर, हरियाणा विधानसभा