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Gyan Ki Baat : महिलाओं को नारियल तोड़ने से क्यों मना करती हैं दादी-नानी? मां लक्ष्मी हो जाती है नाराज

12:26 PM Jan 11, 2025 IST

चंडीगढ़ , 11 जनवरी (ट्रिन्यू)

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Gyan Ki Baat : हिंदू मंदिरों में, खास तौर पर भगवान गणेश को समर्पित मंदिरों, शुभ कार्यक्रम और नई शुरुआत से पहले नारियल यानि श्रीफल फोड़ना बहुत शुभ माना जाता है। नारियल के बिना पूजा अधूरी मानी जाती है। यह बेहद पवित्र फल है लेकिन सनातम धर्म में महिलाओं का नारियल तोड़ना वर्जित है। अक्सर दादी-नानी कहती है कि महिलाओं को नारियल नहीं फोड़ना चाहिए। चलिए आपको बताते हैं कि ऐसा क्यों कहा जाता है...

त्रिदेव का होता है वास

नारियल को श्रीफल के नाम से भी जाना जाता है। भगवान विष्णु जब धरती पर अवतरित हुए तो वे अपने साथ स्वर्ग से तीन चीजें लेकर आए। जिसमें पहली चीज माता लक्ष्मी, दूसरी चीज वे अपने साथ कामधेनु गाय लाए और तीसरी और आखिरी चीज नारियल का पेड़ था।

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चूंकि यह भगवान विष्णु और देवी लक्ष्मी का फल है, इसीलिए इसे श्रीफल के नाम से जाना जाता है। इसमें त्रिदेवो ब्रह्मा, विष्णु और महेश का वास होता है। श्रीफल यानी नारियल महादेव शिव को बहुत प्रिय है और श्रीफल में स्थित तीन आंखें भगवान शिव की तीन आंखों का प्रतिनिधित्व करती हैं। देवताओं को श्रीफल चढ़ाने से धन संबंधी समस्याएं दूर होती हैं।

नारियल चढ़ाना शुभ

हिंदू धर्म में देवता को नारियल चढ़ाने के बाद इसे 'प्रसाद' के रूप में बांटा जाता है। नारियल चढ़ाने का सबसे महत्वपूर्ण कारण यह है कि यह सबसे शुद्ध चीज है। नारियल के अंदर का पानी और सफेद गिरी ही एकमात्र शुद्ध प्रसाद है जो भक्त भगवान को चढ़ाते हैं। यह दूषित नहीं होता क्योंकि इसे तोड़ने तक इसके बाहरी हिस्से में एक सख्त परत चढ़ी रहती है।

अहंकार का टूटना

इसके बाद, नारियल फोड़ना अहंकार के टूटने का प्रतीक है। नारियल मानव शरीर का प्रतिनिधित्व करता है और भगवान के सामने इसे तोड़ा जाता है - 'अहम' या अहंकार को तोड़कर प्रतीकात्मक रूप से पूर्ण समर्पण और ब्रह्म - सर्वोच्च आत्मा के साथ विलय किया जाता है।

महिलाओं को क्यों नहीं तोड़ना चाहिए नारियल

को घर की "लक्ष्मी" माना जाता है इसलिए उन्हें ऐसा कुछ भी नहीं करना चाहिए जिसमें तोड़ना या नष्ट करना शामिल हो। यह भी कहा जाता है कि नारियल फोड़ना भी "बलि" या बलिदान का एक रूप है इसलिए महिलाओं को ऐसा करने से बचना चाहिए।

ऐसा भी कहा जाता है कि जो महिलाएं ऐसा करती हैं, उनके प्रजनन अंग पर भी इसका प्रतिकूल प्रभाव पड़ता है। यह कहावत गर्भवती महिलाओं पर विशेष रूप से सच है। तर्क यह है कि अगर आपके शरीर में एक बीज (भ्रूण) है तो आपको दूसरे बीज वाले नारियल को नष्ट नहीं करना चाहिए।

डिस्केलमनर: यह लेख/खबर धार्मिक व सामाजिक मान्यता पर आधारित है। dainiktribneonline.com इस तरह की बात की पुष्टि नहीं करता है।

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