सरसों, गेहूं की सरकारी खरीद की पेमेंट न होने से भड़के किसान संगठन
भिवानी, 8 जून (हप्र)
अखिल भारतीय किसान सभा जिला कमेटी भिवानी ने अपनी आठ सूत्रीय मांगों को लेकर शनिवार को जिला उपायुक्त कार्यालय भिवानी के सामने प्रदर्शन करके धरना दिया तथा जिला उपायुक्त एवं राज्य के वित्त मंत्री जय प्रकाश दलाल के नाम मांगों का ज्ञापन सौंपा। ज्ञापन लेने के लिए भिवानी के तहसीलदार अजय सिंह सैनी किसानों के बीच पहुंचे। उन्होंने किसानों को आश्वस्त किया कि वे जिला उपायुक्त व मंत्री को उनकी मांगों के बारे अवगत करा देंगे। धरना व प्रदर्शन की अध्यक्षता किसान सभा के जिला प्रधान रामफल देशवाल ने की तथा मंच संचालन जिला सचिव मास्टर जगरोशन रोढ़ा ने किया।
प्रदर्शन को संबोधित करते हुए किसान नेताओं ने कहा कि दो महीने बीतने के बाद भी हाल ही में सरकारी मंडियों में विभिन्न एजेंसियों द्वारा खरीदी गई सरसों व गेहूं का भुगतान अधिकतर किसानों के खातों में नहीं आया है। उन्होंने 9 जून को आए अंधड़ में नष्ट हुई कपास व सब्जियों की विशेष गिरदावरी कराकर 50 हजार रुपए प्रति एकड़ मुआवजे की मांग की है। इस अवसर पर किसान सभा के राज्य कमेटी सदस्य कामरेड ओम प्रकाश ने कहा कि किसानों को साल 2022 में गुलाबी सूंडी से बर्बाद हुई कपास का बकाया बीमा क्लेम व मुआवजा नहीं मिला है, जिसे दिलाया जाए। किसान सभा ने महान स्वतंत्रता सेनानी व प्रमुख किसान नेता पंडित नेकीराम शर्मा को उनकी 68वीं बरसी पर उन्हें याद किया।
इस अवसर पर किसान सभा के जिला वित्त सचिव मास्टर उपराव सिंह, मास्टर शेर सिंह, कमल सिंह प्रधान, बलबीर सरोहा खापड़वास, सिवानी ब्लाॅक प्रधान राम किशन भाकर, युवा किसान नेता अन्तर कस्वा, बहल ब्लाॅक प्रधान कप्तान धनपत ओबरा, सचिव मन्दरूप यादव, किसान नेता दलबीर चहड़, सतबीर ओबरा, तोशाम ब्लाॅक सचिव रणधीर सांगवान, बवानीखेड़ा ब्लाॅक सचिव वेदपाल गोयत, भिवानी ब्लाक प्रधान नरेन्द्र धनाना, किसान नेता बलबीर बजाड़, अनूप राठी, महाबीर फौजी, पूर्व कर्मचारी नेता सज्जन कुमार सिंगला, सुन्दर कोच, सीटू के सुखदेव पालवास व एटक नेता प्रकाश शामिल थे।
गांवों में बिजली-पानी का संकट
युवा कल्याण संगठन के संरक्षक कमल सिंह प्रधान ने कहा कि गांव व शहर में बिजली, पानी को लेकर हाहाकार मचा हुआ है। पीने का पानी व गांव में पशुओं के लिए तालाब नहरी पानी से भरे जाएं तथा बकाया ट्यूबवेल कनेक्शन जारी किए जाएं। दोनों किसान नेताओं ने कहा कि किसान अपनी बकाया मांगों जिनमें न्यूनतम समर्थन मूल्य की सरकारी गारंटी, किसान, मजदूर कर्जा मुक्ति, बिजली का निजीकरण वापस हो, लखीमपुर खीरी के किसानों को न्याय आदि मांगों को लेकर आंदोलन को तेज करेंगे।