हाई कोर्ट में ED की याचिका पर सुनवाई होने तक केजरीवाल की जमानत का आदेश प्रभावी नहीं
नयी दिल्ली, 21 जून (भाषा)
Arvind Kejriwal Bail: दिल्ली हाई कोर्ट ने शुक्रवार को कहा कि मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को जमानत देने संबंधी अधीनस्थ न्यायालय का आदेश तब तक प्रभावी नहीं होगा, जब तक कि अदालत कथित आबकारी घोटाले से जुड़े मनी लांड्रिंग मामले में जमानत को चुनौती देने वाली प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की याचिका पर सुनवाई नहीं कर लेती।
ईडी ने न्यायमूर्ति सुधीर कुमार जैन और न्यायमूर्ति रविंदर डुडेजा की पीठ के समक्ष अधीनस्थ न्यायालय के आदेश को चुनौती देने वाली अपनी याचिका रखी। पीठ ने कहा कि मामला 10 से 15 मिनट में उनके पास आ जाएगा और उसके बाद मामले पर सुनवाई होगी।
हाई कोर्ट ने कहा कि तब तक अधीनस्थ न्यायालय के आदेश की तामील नहीं होगी। ईडी ने बृहस्पतिवार शाम को पारित अधीनस्थ न्यायालय के आदेश को चुनौती दी है।
ईडी की ओर से पेश हुए अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल एसवी राजू ने अधीनस्थ न्यायालय के आदेश पर रोक लगाने की मांग करते हुए कहा कि एजेंसी को अपना मामला रखने का उचित अवसर नहीं दिया गया। केजरीवाल को ईडी ने 21 मार्च को गिरफ्तार किया था।
गिरफ्तारी से कुछ सहय पहले ही दिल्ली हाई कोर्ट ने केजरीवाल को जारी समन को चुनौती देने वाली उनकी याचिका पर गिरफ्तारी से संरक्षण देने से इनकार कर दिया था।
ईडी ने जमानत आदेश को अदालत की वेबसाइट पर अपलोड होने से पहले ही चुनौती दे दी: सुनीता
अरविंद केजरीवाल की पत्नी सुनीता केजरीवाल ने शुक्रवार को दावा किया कि उनके पति के जमानत संबंधी आदेश को, उसकी प्रति निचली अदालत की वेबसाइट पर अपलोड होने से पहले ही प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने हाई कोर्ट में चुनौती दे दी।
दक्षिणी दिल्ली के भोगल इलाके में लोगों को संबोधित करते हुए सुनीता केजरीवाल ने कहा कि देश में तानाशाही की सभी हदें पार हो चुकी हैं और दिल्ली के मुख्यमंत्री के साथ एक 'वांछित आतंकवादी' जैसा व्यवहार किया जा रहा है।