Delhi water crisis: सुप्रीम कोर्ट ने पूछा- सरकार ने कैंटर माफिया के खिलाफ क्या कदम उठाए
नयी दिल्ली, 12 जून (भाषा)
Delhi water crisis: दिल्ली में जल संकट को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली सरकार पर नाराजगी जताई। सुप्रीम कोर्ट ने पूछा कि शहर में टैंकर माफिया के खिलाफ क्या कदम उठाए गए हैं।
सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि जल संकट से लोग परेशान हैं, हम हर समाचार चैनल पर इसके दृश्य देख रहे हैं। कोर्ट ने सरकार से पूछा कि यदि गर्मियों में जल संकट बार-बार होने वाली समस्या है तो पानी की बर्बादी रोकने के लिए आपने क्या उपाय किए हैं।
सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि यदि आप टैंकर माफिया से नहीं निपट सकते तो हम दिल्ली पुलिस से कार्रवाई करने को कहेंगे। कोर्ट ने दिल्ली सरकार को पानी की बर्बादी रोकने के लिए उठाए गए कदमों के बारे में हलफनामा दाखिल करने का निर्देश दिया।
जल संकट के मद्देनजर दिल्ली की प्रमुख पाइपलाइनों का निरीक्षण करेंगी टीमें : आतिशी
उधर, दिल्ली की जल मंत्री आतिशी ने त्वरित प्रतिक्रिया टीमों को पानी की प्रमुख पाइपलाइनों का निरीक्षण करने का निर्देश दिया है जिससे यह पता लगाया जा सके कि किसी पाइपलाइन में रिसाव न हो।
त्वरित प्रक्रिया टीम में अतिरिक्त जिलाधिकारी/उप-जिलाधिकारी स्तर के अधिकारियों और तहसीलदारों को शामिल किया गया है, जो दिल्ली में पानी के टैंकरों की व्यवस्था और पानी से संबंधित शिकायतों का समाधान करेंगी।
जल मंत्री आतिशी ने कहा, ''मुख्य सचिव को यह सुनिश्चित करने का निर्देश दिया जाता है कि ये टीमें जल स्रोतों से लेकर हमारे जल शोधन संयंत्रों तक और जल शोधन संयंत्रों से लेकर भूमिगत जलाशयों तक जल वितरण की निगरानी और निरीक्षण करेंगी।''
उन्होंने 11 जून को लिखे पत्र में कहा, ''ये टीम पानी की अहम पाइपलाइनों का निरीक्षण करेंगी, जिससे यह पता चल सके कि किसी भी पाइपलाइन में कोई रिसाव न हो और यदि किसी पाइपलान में कहीं से रिसाव होता है तो उसे 12 घंटे के भीतर ठीक किया जाना चाहिए।
जल संकट की इस स्थिति के समय में पानी की एक भी बूंद बर्बाद नहीं की जा सकती।'' मंत्री आतिशी ने कहा कि त्वरित प्रतिक्रिया टीमों द्वारा किए गए सभी निरीक्षणों की दैनिक रिपोर्ट प्रतिदिन शाम पांच बजे तक उनके कार्यालय में प्रस्तुत की जाएगी।
उन्होंने सोशल मीडिया मंच 'एक्स' पर एक पोस्ट में कहा, ''चूंकि दिल्ली में भीषण गर्मी के कारण जल संकट की स्थिति है, इसलिए पानी की बर्बादी रोकने के लिए उचित कदम उठाए जा रहे हैं। मुख्य जल वितरण की निगरानी के लिए एडीएम/एसडीएम की विशेष टीमें तैनात की गई हैं, ताकि पाइपलाइन में रिसाव के कारण पानी की बर्बादी न हो सके।''