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शिक्षा, स्वास्थ्य और अध्यात्म का संगम : कुलपति

08:43 AM Mar 12, 2025 IST
शिक्षा  स्वास्थ्य और अध्यात्म का संगम   कुलपति
डॉ. एचएल वर्मा, कुलपति
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रोहतक, 11 मार्च (हप्र)
श्रीबाबा मस्तनाथ की पुण्य स्मृति में आयोजित सालाना तीन दिवसीय मेले में बाबा मस्तनाथ विश्वविद्यालय ने अपनी विशेष भूमिका निभाते हुए अनुशासन, मार्गदर्शन, शिक्षा, स्वास्थ्य और अध्यात्म का अनूठा संगम प्रस्तुत किया। इस आयोजन में विश्वविद्यालय के विभिन्न क्लबों और विभागों ने बढ़-चढ़कर योगदान दिया। इससे श्रद्धालुओं को न केवल आध्यात्मिक अनुभव मिला, बल्कि उन्हें शिक्षा और स्वास्थ्य संबंधी लाभ भी प्राप्त हुए। यह बात बाबा मस्तनाथ विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. एचएल वर्मा ने कही। डॉ. एचएल वर्मा मंगलवार को पत्रकारों से बातचीत कर रहे थे।
उन्होंने बताया कि मेले में आयोजित संध्या कार्यक्रमों की जिम्मेदारी बाबा मस्तनाथ विश्वविद्यालय के कल्चर क्लब ने संभाली। इन कार्यक्रमों में भक्ति संगीत, पारंपरिक नृत्य, भजन संध्या और अन्य सांस्कृतिक प्रस्तुतियां आयोजित की गई, जिससे पूरा वातावरण भक्तिमय हो उठा। इन आयोजनों ने मेले में आध्यात्मिकता को और अधिक गहराई प्रदान की। कुलपति ने बताया कि बाबा मस्तनाथ विश्वविद्यालय ने मेले में स्वास्थ्य सेवा को भी विशेष प्राथमिकता दी। मेंटल वेलबीइंग क्लब द्वारा एक विशेष मेडिकल कैंप का आयोजन किया गया, इसमें विश्वविद्यालय के आयुर्वेद और फिजियोथेरेपी विभाग की टीम ने श्रद्धालुओं को नि:शुल्क चिकित्सा सेवाएं प्रदान की।
इस कैंप में पंचकर्म चिकित्सा की जानकारी दी गई, साथ ही आयुर्वेदिक नि:शुल्क उत्पादों का वितरण भी किया गया। साथ ही मेले में आयोजित कुश्ती दंगल को विशेष रूप से आकर्षक बनाने में विश्वविद्यालय के स्पोर्ट्स क्लब ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।

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सामाजिक सेवा की दृष्टि से भी निभाई जिम्मेदारी : रजिस्ट्रार

विश्वविद्यालय के रजिस्ट्रार डॉ. विनोद कुमार ने बताया कि विश्वविद्यालय ने इस मेले में न केवल शिक्षा और स्वास्थ्य सेवाओं को बढ़ावा दिया, बल्कि सामाजिक सेवा की दृष्टि से भी अपनी जिम्मेदारी निभाई। मेडिकल कैंप और सांस्कृतिक कार्यक्रमों के माध्यम से श्रद्धालुओं को आध्यात्मिकता के साथ-साथ शिक्षा और स्वास्थ्य के प्रति जागरूक करने का प्रयास किया गया। विश्वविद्यालय के यूथ रेडक्रॉस और एनसीसी के कैडेट्स ने भी महत्वपूर्ण योगदान दिया। यूथ रेडक्रॉस के स्वयंसेवकों ने पूरे मेले में श्रद्धालुओं की सहायता की और स्वास्थ्य एवं स्वच्छता का विशेष ध्यान रखा। वहीं, एनसीसी के कैडेट्स ने सुरक्षा, अनुशासन और मार्गदर्शन की जिम्मेदारी संभालते हुए मेला क्षेत्र में सेवा भावना का परिचय दिया। इन युवा सेवकों ने अपने समर्पण से मेले की सफलता में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।

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