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टैलेंट और उद्योग की खाई पाटने को मुहिम

07:29 AM Dec 05, 2024 IST

अकसर यह कहा जाता है कि देश में विज्ञान व इंजीनियरिंग के क्षेत्र में होने वाले शोध-अनुसंधान का लाभ आम आदमी के हित में समय अनुरूप सार्थक बनाने की पहल नहीं होती। या फिर किसी प्रतिभा द्वारा कोई नई खोज या अविष्कार किया जाता है तो आर्थिक संसाधनों के अभाव में उस प्रतिभा को जरूरी मंच नहीं मिल पाता। लेकिन अब बदलते वक्त की जरूरत के मुताबिक मोटर वाहनों के आधुनिकीकरण की अभिनव पहल शुरू की गई है। य़ह उपलब्धि शिक्षा और इंडस्ट्रीज के बीच दूरी घटाने के लिए बाहा एसएई इंडिया की भूमिका को गतिशील मंच के रूप में सामने लाती है। जो बाहा एस.ए.ई इंडिया 2025 के वर्चुअल राउंड की शुरुआत के साथ चरितार्थ हुई है। जिसमें देश के विभिन्न इंजीनियरिंग कालेजों की 200 टीमें भाग ले रही हैं। इसमें नई प्रतिभाओं का उत्साह और बाहा एस.ए.ई का अनुभव समाहित है।

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ऑटोमोटिव इंजी. की सोसायटी का आयोजन

सिंगल सीटर एटीवी (ऑल-टेरेन व्हीकल) की संकल्पना, डिजाइन, मॉडलिंग, विश्लेषण, निर्माण और उसकी प्रामाणिकता के लिए इंजीनियरिंग डिजाइन कॉम्पीटीशन बाहा एसएई इंडिया, 2025 के वर्चुअल राउंड की शुरुआत पिछले दिनों हुई। दरअसल बाहा एसएई इंडिया कार्यक्रम ऑटोमोटिव इंजीनियर्स की पेशेवर सोसायटी एसएई इंडिया का प्रमुख फ्लैगशिप आयोजन है। जिसमें हर वर्ष 5-10 हजार इंजीनियरिंग छात्र सम्मिलित होते हैं। इस वर्ष 18वां सीजन है। प्रतियोगिता का आयोजन तीन चरणों में किया जाएगा।

स्पर्धा में शामिल हैं कई इवेंट

इस स्पर्धा में बिक्री, लागत और डिजाइन मूल्यांकन के साथ सस्टेनिबिलिटी इवेंट और इंजन सिमुलेशन इवेंट शामिल है। इसमें आईपीजी कार मेकर के उपयोग के साथ वर्चुअल डायनेमिक इवेंट भी शामिल हैं। जो टीमों के मूल्यांकन के लिए एक व्यापक ढांचा प्रदान करते हैं। एक स्मार्ट, सुरक्षित और अधिक सस्टेनेबल भविष्य को बढ़ावा देने की प्रतिबद्धता के साथ, बाहा एसएई इंडिया छात्रों को अत्याधुनिक प्रौद्योगिकियों के माध्यम से वास्तविक चुनौतियों का सामना करने के लिए कौशल और विशेषज्ञता प्रदान करता है।

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ईंधन व तकनीक की नयी चुनौतियों के मुताबिक

बाहा एसएई इंडिया के पिछले सीजन 2024 में मोबिलिटी के भविष्य की चुनौतियों के लिए तैयार करने के लिए ‘एच-बाहा’ यानी हाइड्रोजन आधारित और ‘ए-बाहा’ नाम से दो नई श्रेणियों को इस प्रतियोगिता में शामिल किया गया था। एच-बाहा कैटेगेरी में इस बार 20 टीमें पंजीकृत हुई हैं। जो हाइड्रोजन-आधारित वाहनों की गतिशीलता के लिए बढ़ते उत्साह को दर्शाता है। जहां पर ऑल-टेरेन व्हीकल एचसीएनजी पर चलेंगे। इसी तरह, ए-बाहा, जिसमें बिना ड्राइवर के ऑल-टेरेन व्हीकल चलती हैं।

प्रतिभा निखारने का प्रयास

बाहा एसएई इंडिया अगली पीढ़ी के मोबिलिटी इंजीनियरों की प्रतिभा को निखारने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रही है। दरअसल, बाहा एसएई इंडिया इनोवेशन और लर्निंग के सार्थक प्रयासों का प्रतीक रहा है। यह संस्था पिछले 18 वर्षों में एक गतिशील मंच के रूप में विकसित हुई है। जो छात्रों को इंजीनियरिंग में उत्कृष्टता हासिल करने के लिये प्रेरित करती है। अब चार श्रेणियों के साथ एक नई थीम फ्यूजन फॉर फ्यूचर को शामिल किया गया है। बाहा एसएई इंडिया के पूर्व छात्रों ने दुनिया भर में ऑटोमोटिव और गैर-ऑटोमोटिव दोनों उद्योगों में नेतृत्व की भूमिका में खुद को शामिल किया है।

नई शिक्षा नीति की आकांक्षाएं भी

यह प्रयास नई शिक्षा नीति की आकांक्षाओं के अनुरूप शिक्षा और उद्योग के बीच की खाई को पाटने की प्रतिबद्धता को रेखांकित करता है। यह अभिनव प्रयास भारत के ऑटोमोटिव परिदृश्य के भविष्य को आकार देने के लिए रचनात्मकता, सस्टेनेबिलिटी और एक्सीलेंस के साथ आगे की सोच वाली इंजीनियरिंग को आगे बढ़ा रहा है। यह कोशिश नवाचार और उत्कृष्टता को आगे बढ़ाने, छात्रों को उद्योग में सफल होने के लिए आवश्यक कौशल प्रदान करने की सार्थक भूमिका निभा रही है।
बाहा एसएई इंडिया लागत, डिजाइन, बिक्री मूल्यांकन और इंजन सिमुलेशन इवेंट जैसे कार्यक्रम भाग लेने वाली टीमों के तकनीकी और परिचालन कौशल विकसित करने में मददगार हैं। छात्रों को वाहन डिजाइन के व्यवसाय और स्थिरता से जुड़े पहलुओं का पता लगाने के लिए प्रोत्साहित करती हैं। उन्हें उद्योग में विविध भूमिकाओं के लिए तैयार करती है।
बाहा एसएई इंडिया 2025 प्रतियोगिता में तीन स्थानों पर कार्यक्रम निर्धारित हैं। श्रृंखला की शुरुआत में एम बाहा और एच बाहा, 9-12 जनवरी 2025 तक नाट्रैक्स पीथमपुर, इंदौर में प्रतियोगी अपनी क्षमता का प्रदर्शन करेंगे। इसके बाद 20 -23 फरवरी तक, स्पॉटलाइट हैदराबाद के बी. वि. राजू इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी पर स्थानांतरित हो जाएगी, जो कि ई-बाहा केंद्र में होगा। समापन संभवतः 2025 के मध्य में पुणे के पास एआरएआई में होना है।

-फीचर डेस्क

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