आज से अस्पतालों में सेवाएं बंद रखने का आह्वान
बंगाल प्रकरण
कोलकाता, 13 अक्तूबर (एजेंसी)
पश्चिम बंगाल में कल्याणी जेएनएम हॉस्पिटल के 75 से अधिक वरिष्ठ चिकित्सकों ने आरजी कर अस्पताल की मृतक चिकित्सक के लिए न्याय की मांग करते हुए सामूहिक इस्तीफा देने की धमकी दी और अपनी मांगों को लेकर आमरण अनशन पर बैठे कनिष्ठ चिकित्सकों के प्रति एकजुटता व्यक्त की। वहीं, रेजिडेंट डॉक्टरों के संघ ‘फेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया मेडिकल एसोसिएशन’ (आरडीए) ने पश्चिम बंगाल में प्रदर्शन कर रहे चिकित्सकों से एकजुटता प्रदर्शित करते हुए सोमवार से देशभर के अस्पतालों में गैर-आकस्मिक सेवाएं बंद रखने का रविवार को आह्वान किया। संगठन के एक अधिकारी ने यह जानकारी दी। उन्होंने कहा कि यह निर्णय शनिवार को एसोसिएशन की बैठक में लिया गया। हालांकि, एसोसिएशन ने सभी रेजिडेंट डॉक्टर एसोसिएशन (आरडीए) से यह सुनिश्चित करने का अनुरोध किया है कि आपात सेवाएं चौबीसों घंटे चालू रखी जाएं।
उधर कल्याणी जेएनएम अस्पताल के कुल 77 चिकित्सकों ने 14 अक्तूबर से काम बंद करने के अपने फैसले के बारे में पश्चिम बंगाल स्वास्थ्य विश्वविद्यालय के पंजीयक को ईमेल के माध्यम से सूचित किया है। उन्होंने इस कदम के पीछे ‘‘मानसिक अशांति’’ और ‘‘वर्तमान मन: स्थिति में काम करने में असमर्थता’’ की वजह बतायी है।
चिकित्सकों ने कहा कि वे आमरण अनशन कर रहे कनिष्ठ चिकित्सकों के प्रति एकजुटता जताते हैं, जिनकी सेहत बिगड़ रही है। कल्याणी जेएनएम हॉस्पिटल के चिकित्सकों ने प्राधिकारियों को समस्या को हल करने के लिए 14 अक्तूबर तक का वक्त दिया है जिसमें नाकाम रहने पर उनकी सामूहिक इस्तीफा देने की योजना है।
कोलकाता में अस्पताल में भीड़ ने एक व्यक्ति को पीटा
कोलकाता में रविवार को एसएसकेएम अस्पताल के ‘ट्रामा केयर’ विभाग में पहुंचने के बाद एक युवक को कुछ लोगों ने कथित रूप से हमला कर घायल कर दिया। अधिकारियों ने यह जानकारी दी। यह घटना तब हुई जब उसके पास ही जूनियर चिकित्सकों का एक समूह आर जी कर अस्पताल के कथित बलात्कार- हत्याकांड में इंसाफ तथा सरकारी चिकित्सा केंद्रों में कड़े सुरक्षा उपायों समेत 10 सूत्री मांगों पर दबाव बनाने के लिए आमरन अनशन पर बैठा है। पुलिस के एक अधिकारी ने बताया कि ऐसी खबर है कि यह युवक एक गिरोह का हिस्सा है और इस गिरोह की उससे पहले दिन में पास के एक क्षेत्र में प्रतिद्वंद्वी गिरोह के साथ झड़प हुई थी। उन्होंने बताया कि जब एक समूह के सदस्य इलाज के लिए अस्पताल आये तब दूसरा समूह भी वहां पहुंच गया और उसने युवक को बुरी तरह पीटा। इस घटना के बाद चिकित्सकों ने सुरक्षा की मांग को लेकर फिर से आंदोलन शुरू कर दिया है।