खेल नर्सरियों में अभ्यास करने वाले नवोदित खिलाड़ियों को नहीं मिल रहा खुराक भत्ता
जींद, 27 नवंबर (हप्र)
खिलाड़ियों की नई पौध तैयार करने की खातिर खेल विभाग द्वारा जिले में अलॉट 82 खेल नर्सरियों में अभ्यास करने वाले दाे हजार से ज्यादा खिलाड़ियों को खुराक भत्ता नहीं मिल पाया है। इन खिलाड़ियों को अभ्यास करवाने वाले कोच का मानदेय भी पांच माह से अटका पड़ा है। हरियाणा के खेल विभाग ने इस साल जून में प्रदेश भर में 976 खेल नर्सरियां अलाट की थी। जींद जिले में भी कबड्डी, कुश्ती, हाकी, आर्चरी, एथलेटिक्स, हैंडबाल, बास्केटबाल, बाक्सिंग, फेंसिंग, रोइंग, तैराकी, वुशू समेत कई खेलों की कुल 82 खेल नर्सरियां खुली थी। प्रत्येक नर्सरी में 25 से 30 खिलाड़ियों को प्रशिक्षण दिया जाता है। इनमें अभ्यास करने वाले खिलाड़ियों को खुराक भत्ता सरकार की तरफ से दिया जाता है। खेल विभाग द्वारा बनाए गए नियमों के अनुसार 8 से 14 साल के बच्चों को खुराक भत्ते के तौर पर 1500 रुपये प्रति माह और 15 से 19 साल के युवा खिलाड़ियों को दो हजार रुपये मासिक राशि मिलती है। यह राशि उनके बैंक खाते में सीधी आती है। योजना के पीछे तर्क है कि खिलाड़ी यह पैसा अपनी खुराक के लिए प्रयोग कर सकें। वहीं खिलाड़ियों को प्रशिक्षण देने वाले कोच को 25 हजार रुपये मासिक मानदेय दिया जाता है। 15 जून से शुरू हुई इन खेल नर्सरियों को अभी तक बजट नहीं मिला है। खेल नर्सरियों में अभ्यास करने वाले युवा और नवोदित खिलाड़ियों के खुराक भत्ते के बैंक खाते खाली पड़े हैं। उनके खुराक का खर्च अभिभावकों को उठाना पड़ रहा है। गरीब घरों के बच्चों और उनके परिजनों को सबसे ज्यादा दिक्कत हो रही है।
यह कहते हैं जिला खेल अधिकारी
खेल नर्सरियों को बजट नहीं मिलने बारे जिला खेल अधिकारी रामपाल हुड्डा ने कहा कि खिलाड़ियों का खुराक भत्ता अटका हुआ है। संबंधित विषय से उच्च अधिकारियों को अवगत करवाया हुआ है। उम्मीद है कि जल्द ही खिलाड़ियों की समस्या का समाधान हो जाएगा।