76th Republic Day Parade : गणतंत्र दिवस परेड में पहली बार दिखी तीनों सेनाओं के बीच बेहतर तालमेल को दर्शाती झांकी
नई दिल्ली, 26 जनवरी (भाषा)
76th Republic Day Parade : गणतंत्र दिवस परेड के दौरान कर्तव्य पथ पर रविवार को पहली बार तीनों सेनाओं (थलसेना, वायुसेना, नौसेना) की झांकी में सशस्त्र बलों के बीच तालमेल बढ़ाने पर भारत के विशेष जोर का प्रदर्शन किया गया।
झांकी में युद्ध के मैदान का परिदृश्य दिखाया गया, जिसमें स्वदेशी अर्जुन युद्धक टैंक, तेजस लड़ाकू विमान, विध्वंसक आईएनएस विशाखापत्तनम और उन्नत हल्के हेलीकॉप्टर के साथ थल, जल और वायु में समन्वित अभियान का प्रदर्शन किया गया। तीनों सेनाओं की झांकी का विषय ‘सशक्त और सुरक्षित भारत' रखा गया था।
मंत्रालय ने एक जनवरी को साल 2025 को रक्षा सुधारों वाला वर्ष घोषित किया था और कहा था कि भारत की सैन्य ताकत बढ़ाने के लिए तीनों सेनाओं के तालमेल को बढ़ावा देने पर ध्यान केंद्रित किया जाएगा। तीनों सेनाओं की झांकी में सशस्त्र बलों में एकीकरण के वैचारिक दृष्टिकोण को प्रदर्शित किया और इसमें थल सेना, नौसेना और वायुसेना के बीच नेटवर्किंग और संचार की सुविधा प्रदान करने वाले संयुक्त अभियान कक्ष को दर्शाया गया।
रक्षा मंत्रालय तीनों सेवाओं के बीच समन्वय और एकीकरण पर ध्यान केंद्रित कर रहा है, जिसका उद्देश्य समकालीन और भविष्य के संघर्षों में सेना की लड़ाकू क्षमता को अधिकतम करना है। तीनों सेनाओं के बीच बेहतर तालमेल सुनिश्चित करने के तहत सरकार इस साल एकीकृत युद्ध क्षेत्र कमान स्थापित करने पर गौर कर रही है।
थिएटराइजेशन मॉडल के अंतर्गत सरकार थल सेना, वायु सेना और नौसेना की क्षमताओं को एक साथ लाना चाहती है, जिससे युद्ध के दौरान और सैन्य अभियानों के दौरान उनके संसाधनों का अनुकूल प्रयोग किया जा सके। थिएटराइजेशन योजना के तहत सभी थिएटर कमांड में सेना, नौसेना और वायु सेना की सभी इकाइयां होंगी साथ ही वे सभी एक भौगोलिक क्षेत्र में सुरक्षा चुनौतियों को देखते हुए एक इकाई के रूप में काम करेंगी। वर्तमान स्थिति में थलसेना, नौसेना और वायुसेना अलग-अलग कमान के साथ काम करती हैं।