बारिश से 115 सड़कें बंद, शिमला में गिरते पेड़ों ने बढ़ाई मुश्किलें
शिमला, 4 जुलाई (हप्र)
हिमाचल प्रदेश में बीते दो दिनों से हो रही भारी से बहुत भारी वर्षा के कारण जनजीवन बुरी तरह प्रभावित हुआ है। राज्य आपातकालीन परिचालन केंद्र के अनुसार प्रदेश में भारी बारिश से 115 सड़कें बंद हो गई हैं। इसके अलावा 212 बिजली ट्रांसफार्मर भी ठप हैं। 17 पानी की स्कीमें भी प्रभावित हुई हैं। मंडी जिला में सबसे ज्यादा 107 सड़कें बाधित हैं। चम्बा में चार, सोलन में तीन और कांगड़ा में एक सड़क बंद है। भारी वर्षा से शिमला जिला के ठियोग उपमंडल में 10 और कुमारसेन में सात पेयजल स्कीमें भी ठप हैं। मंडी जिला में 147, कुल्लू में 42, चम्बा में 16 और सोलन में सात ट्रांसफार्मरों के बंद होने से बिजली गुल है।
सुबह-सुबह पहाड़ी से मलबा आने से शिमला-बिलासपुर नेशनल हाइवे बाधित रहा। भूस्खलन की यह घटना शिमला के उपनगर चक्कर के समीप बैरियर में सामने हुई। इस दौरान वाहन मलबे की चपेट में आने से बाल बाल बच गए। प्रशासन ने मलबा हटाकर हाइवे को एक तरफा यातायात के लिए बहाल किया है।
राजधानी शिमला में वर्षा से पेड़ों के गिरने का सिलसिला शुरू हो गया है जिस कारण शहर में यातायात बाधित हो रहा है। शहर के हिमलैंड और बेमलोई इलाकों में विशालकाय पेड़ गिर गिरने की घटनाएं हुई हैं। मंडी के करसोग के तलेहन में लगातार हो रही मूसलाधार बारिश से फ्लैश फ्लड जैसे हालात पैदा होने के कारण एचआरटीसी की बसें व अन्य वाहन मलबे में फंसे गए। रात्रि ठहराव के लिए तलेहन में सड़क किनारे एचआरटीसी की इन बसों को पार्क किया गया था। सुबह 4 बजे के करीब पहाड़ी से एकाएक भारी मात्रा में पानी व पत्थर गिरने शुरू हो गए और ये बसें व अन्य वाहन मलबे में फंस गए।
आगे कैसा मौसम मौसम विज्ञान केंद्र शिमला के निदेशक सुरेंद्र पॉल ने कहा कि अगले तीन दिन तक वर्षा का सिलसिला जारी रहने के आसार हैं। विभाग ने 5 जुलाई को राज्य के 8 जिलों ऊना, बिलासपुर, हमीरपुर, कांगड़ा, मंडी, शिमला, सोलन और सिरमौर में भारी बारिश का ऑरेंज अलर्ट तथा छह व सात जुलाई को येलो अलर्ट जारी किया है।