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हिमाचल में फिर आसमानी आफत का खतरा

05:00 AM Jul 03, 2025 IST
हिमाचल में फिर आसमानी आफत का खतरा
मंडी में उफनती व्यास नदी। -एएनआई
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n मंडी में बादल फटने की घटना में मृतकों की संख्या हुई 10
n 5 से 7 जुलाई तक भारी से बहुत भारी बारिश का ऑरेंज अलर्ट

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ज्ञान ठाकुर/ हप्र
शिमला, 2 जुलाई
जुलाई महीने में मानसून के सामान्य से अधिक बरसने के पूर्वानुमान के बीच हिमाचल प्रदेश के लिए मौसम विभाग का 5 से 7 जुलाई तक फिर आसमानी आफत का अलर्ट आया है। मौसम विभाग ने राज्य के तीन जिलों- ऊना, कांगड़ा और मंडी में 5 जुलाई को भारी से बहुत भारी बारिश का ऑरेंज अलर्ट जारी किया है। जबकि, 6 जुलाई के लिए राज्य के 6 जिलों- ऊना, बिलासपुर, कांगड़ा, मंडी, शिमला और सिरमौर के लिए ऑरेंज अलर्ट जारी किया गया है। इसके अलगे दिन भी इन जिलों में भारी से बहुत भारी बारिश की स्थिति बनी रहने की संभावना है। विभाग ने इस दौरान राज्य के अन्य जिलों में भारी बारिश का येलो अलर्ट जारी किया है।
राज्य में मौजूदा मानसून सीजन के लिए यह तीसरा ऑरेंज अलर्ट है। इससे पहले 29-30 जून और 1 जुलाई को मंडी, शिमला और कुल्लू जिले के कुछ हिस्सों में बारिश ने भारी तबाही मचाई थी। इस बीच, मंडी जिले में बादल फटने और अचानक आई बाढ़ से जुड़ी घटनाओं में मरने वालों की संख्या बढ़कर 10 हो गयी है। अधिकारियों ने बुधवार को बताया कि पांच शव और मिले हैं, जबकि कई लापता लोगों की तलाश जारी है।
राज्य में 282 सड़कें बंद : राज्य में मानसून से जुड़ी घटनाओं में अभी तक 51 लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि 22 लोग लापता हैं। भारी बरसात, भूस्खलन और बाढ़ के कारण प्रदेश में 282 सड़कें, 1361 ट्रांसफार्मर और 639 पेयजल योजनाएं ठप हैं। मंडी में 182 सड़कें, कुल्लू में 37, शिमला में 33, सिरमौर में 12, चंबा में छह, हमीरपुर में पांच, कांगड़ा और ऊना में तीन-तीन तथा सोलन में एक सड़क बंद है। भारी बरसात के कारण प्रदेश नौ पक्के मकान, चार कच्चे मकान और नौ दुकानें पूरी तरह क्षतिग्रस्त हो चुकी हैं। इसके अलावा 84 पालतू पशु भी बाढ़ और भूस्खलन की चपेट में आने के कारण मारे जा चुके हैं। बीते 24 घंटे के दौरान कसौली में सर्वाधिक 55 मिलीमीटर बारिश दर्ज की गई। इसके अलावा मंडी में 37, सराहन में 32, जुब्बड़हट्टी में 26, शिमला में 25, सोलन में 27, सुंदरनगर में 23, पालमपुर में 16, धर्मशाला में 15, कुफरी में 16 और बजौरा में 12 मिलीमीटर बारिश हुई।

देश में 11 नदी निगरानी केंद्रों पर ‘बाढ़ चेतावनी’

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नयी दिल्ली (एजेंसी) : केंद्रीय जल आयोग ने बुधवार को कहा कि देश में 11 नदी निगरानी केंद्रों पर पानी का स्तर बाढ़ चेतावनी स्तर को पार कर गया है। हालांकि, फिलहाल किसी भी केंद्र पर यह स्तर खतरे के निशान या बाढ़ की चरम सीमा तक नहीं पहुंचा है। आयोग के केंद्रीय बाढ़ नियंत्रण कक्ष की ओर से जारी बुलेटिन में असम, बिहार, ओडिशा, तमिलनाडु और उत्तर प्रदेश के 12 नदी निगरानी केंद्रों को उन जगहों के रूप में चिह्नित किया गया है, जहां बाढ़ का खतरा सामान्य से अधिक है और जल स्तर चेतावनी सीमा को पार कर गया है, लेकिन खतरे के निशान से नीचे है। फोटो-प्रेट्र

शिमला : एनएचएआई के दो अधिकारियों के खिलाफ केस दर्ज
शिमला के भट्टा कुफर इलाके में पांच मंजिला इमारत गिरने के विवाद में बुधवार को राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (एनएचएआई) के दो अधिकारियों- अचल जिंदल और योगेश के खिलाफ जान को खतरे में डालने और जानबूझकर चोट पहुंचाने के आरोप में केस दर्ज किया गया। इससे एक दिन पहले, अचल जिंदल की शिकायत पर हिमाचल प्रदेश के पंचायती राज मंत्री अनिरुद्ध सिंह के खिलाफ एनएचएआई के अधिकारियों को गलत तरीके से रोकने और जानबूझकर चोट पहुंचाने के आरोप में केस दर्ज किया गया था। उन पर इमारत ढहने वाले स्थान का निरीक्षण करने के दौरान एनएचएआई के दो अधिकारियों पर हमला करने का आरोप है। मंगलवार को एक अन्य मामला भी दर्ज किया गया था, जब इमारत मालिक और अन्य ने आरोप लगाया था कि एनएचएआई तथा फोर लेन सड़क परियोजना में लगी कंपनी की लापरवाही के कारण मकान ढह गया और अन्य इमारतों में दरारें आ गईं।

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