कनीना 20 अप्रैल (निस)देश के नागरिकों को नशे से दूर रहकर अपनी उर्जा सकारात्मक कार्यों में लगानी चाहिए। नशे से शरीर का नाश होता हैं। ये विचार जींद जिले के एंचरा कलां गांव निवासी रविंद्र तोमर ने प्रदेश में गाड़ी-बुग्गी यात्रा निकालकर नशे के खिलाफ संदेश दिया है। उनका मानना है कि उनके दादा व पिता पहलवान रहे हैं। जो सामाजिक बुराइयों व नशे के प्रति आमजन को जागरूक करते रहे हैं। उनकी प्रेरणा से ही उन्हें नशे के विरुत्र यात्रा निकालने का फैसला किया।रविंद्र ने बताया कि उन्होंने यह यात्रा अपने गांव से 5 फरवरी से शुरू की थी जो प्रदेश के सभी 22 जिलों में जाएगी। अब तक 19 जिलों को कवर कर चुकी है। रविवार को उनकी यात्रा कनीना के रास्ते महेंद्रगढ़ जिले में पंहुची। उन्होंने बताया कि मेवात में यात्रा का विशेष अभिनंदन हुआ जहां कमाडों हिदायत सिंह ने प्रशस्ति पत्र प्रदान कर सम्मानित किया।इस यात्रा के माध्यम से वह गांव-गांव और शहर-शहर युवाओं को नशा न करने की प्रेरणा देते हैं। नशा नहीं करना चाहिए और जीवन में खलों को अपना कर घी व दूध का सेवन करना चाहिए और शारीरिक मेहनत करनी चाहिए। उन्होंने कहा कि प्रतिदिन रोजाना 40 से 50 किलोमीटर यात्रा तय होती है।उन्होंने हरियाणा सरकार एवं पुलिस विभाग द्वारा नशामुक्ति के लिए निकली जा रही साइक्लोथाेन यात्रा की भी सराहना की। उन्होंने बताया कि उनकी यात्रा अटेली, नारनौल, लोहारू, भिवानी होते हुए रोहतक पंहुचेगी जहां 30 अप्रैल के बाद मई माह के पहले सप्ताह में उसका समापन होगा। उसके 15 दिन का ब्रेक देने के बाद उडता पंजाब में नशा मुक्ति यात्रा निकाली जाएगी।