कलायत, 30 जून (निस)कलायत के चौसाला गांव में चांद वाला और ढोबी तालाबों के सौंदर्यीकरण कार्य में बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार का आरोप लगाते हुए ग्रामीणों ने रोष जताया। उन्होंने पंचायत विभाग पाउंड अथॉरिटी के अधिकारियों और ठेकेदार पर मिलीभगत का आरोप लगाते हुए कड़ी कार्रवाई की मांग की है।ग्रामीणों इंद्र, गोपी, दलबीर, आभे सिंह, काला राम, रोशन, रामफल, चुडिय़ा, छोटूराम और सुरेंद्र चौसाला ने बताया कि करीब 3 साल पहले 3.5 करोड़ रुपये की लागत से तालाबों के सौंदर्यीकरण का कार्य शुरू किया गया था। इस कार्य में तालाबों की खुदाई, घाटों का निर्माण, फुटपाथ और पौधारोपण शामिल था।हालांकि, ठेकेदार ने दो साल पहले ही काम अधूरा छोड़ दिया और तब से कोई कार्य शुरू नहीं हुआ है। ग्रामीणों के अनुसार, पहले से निर्मित ईंटों के घाटों को भी ठेकेदार उखाड़ कर ले गया है। तालाब में नहरी पानी छोडऩे की व्यवस्था भी अधूरी छोड़ दी गई है, जिससे पानी की उचित निकासी न होने के कारण गंदगी फैल गई है।अधूरे घाटों के चलते उनके पशुओं के चोटिल होने की घटनाएं भी सामने आ रही हैं। ग्रामीणों का दावा है कि तालाब का कार्य पूरा न होने के बावजूद ठेकेदार को पूरी पेमेंट कर दी गई है। उन्होंने डीसी प्रीति और प्रदेश के मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी से पूरे मामले की निष्पक्ष जांच करवाने और भ्रष्टाचार में शामिल अधिकारियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने की मांग की है।गहनता से जांच करवाकर की जाएगी उचित कार्रवाई : बीडीपीओइस संबंध में बीडीपीओ रितु लाठर ने बताया कि मामला उनके संज्ञान में आ गया है। उन्होंने आश्वासन दिया कि तालाब का कार्य पूरा क्यों नहीं हो पाया, इसकी गहनता से जांच करवाकर उचित कार्रवाई की जाएगी।