केंद्र से वार्ता का नहीं मिला प्रस्ताव, किसानों का आज फिर दिल्ली कूच
चंडीगढ़, 7 दिसंबर (ट्रिन्यू/ एजेंसी)
शंभू बॉर्डर से 101 किसानों का जत्था रविवार को फिर दिल्ली कूच का प्रयास करेगा। शुक्रवार को पंजाब-हरियाणा सीमा पर सुरक्षाकर्मियों द्वारा आंसू गैस के गोले दागे जाने के बाद प्रदर्शनकारी किसानों ने अपना पैदल मार्च स्थगित कर दिया था। किसान नेता सरवन सिंह पंधेर ने शनिवार को शंभू सीमा पर मीडिया को संबोधित करते हुए कहा, ‘हमें बातचीत के लिए केंद्र से कोई संदेश नहीं मिला है। मोदी सरकार बातचीत के मूड में नहीं है।’ उन्होंने कहा कि संयुक्त किसान मोर्चा (गैर-राजनीतिक) और किसान मजदूर मोर्चा ने पहले ही फैसला कर लिया है कि 101 किसानों का जत्था रविवार दोपहर को शांतिपूर्ण तरीके से फिर से दिल्ली की ओर मार्च करेगा। पंधेर ने आश्वासन दिया कि किसान दिशानिर्देशों का सख्ती से पालन करेंगे। उन्होंने कहा, ‘हम सुनिश्चित करेंगे कि ‘मरजीवड़े जत्थे’ के अलावा कोई भी किसान पंडाल के पास रस्सी को पार न करे।’
पंधेर ने बताया कि शुक्रवार की पुलिस कार्रवाई में 25 किसान घायल हुए। दो किसानों की हालत गंभीर बनी हुई है। एक की सुनने की क्षमता चली गई। प्रदर्शनकारी किसानों के खिलाफ सुरक्षाकर्मियों की कार्रवाई पर पंधेर ने कहा कि केंद्र की भाजपा सरकार का पर्दाफाश हो गया है। उन्होंने कहा, ‘लोग भाजपा से पूछ रहे हैं कि किसान अपने साथ ट्रैक्टर-ट्रॉली नहीं ले जा रहे थे, तो उन्हें आगे क्यों नहीं बढ़ने दिया गया।’ इस बीच, खनौरी बॉर्डर पर किसान नेता जगजीत सिंह डल्लेवाल का आमरण अनशन जारी है।
‘मीडिया कर्मियों को प्रदर्शन स्थल से एक किमी दूर रखें’
चंडीगढ़ (ट्रिन्यू) : हरियाणा के एडीजीपी (कानून एवं व्यवस्था) संजय कुमार ने पंजाब के अपने समकक्ष को पत्र भेजकर अनुरोध किया है कि शंभू बॉर्डर पर किसानों के प्रदर्शन स्थल से मीडियाकर्मियों को एक किलोमीटर की दूरी पर रखा जाए। उन्होंने यह भी उल्लेख किया है कि 6 दिसंबर को किसानों के दिल्ली कूच के दौरान हरियाणा पुलिस को शंभू बॉर्डर पर कानून-व्यवस्था की स्थिति को संभालने में कड़ी चुनौतियों का सामना करना पड़ा था। वहीं, किसान नेताओं ने कहा कि यह मीडिया को दूर रखने का सोचा-समझा प्रयास है।
‘मीडिया कर्मियों को प्रदर्शन स्थल से एक किमी दूर रखें’
चंडीगढ़ (ट्रिन्यू) : हरियाणा के एडीजीपी (कानून एवं व्यवस्था) संजय कुमार ने पंजाब के अपने समकक्ष को पत्र भेजकर अनुरोध किया है कि शंभू बॉर्डर पर किसानों के प्रदर्शन स्थल से मीडियाकर्मियों को एक किलोमीटर की दूरी पर रखा जाए। उन्होंने यह भी उल्लेख किया है कि 6 दिसंबर को किसानों के दिल्ली कूच के दौरान हरियाणा पुलिस को शंभू बॉर्डर पर कानून-व्यवस्था की स्थिति को संभालने में कड़ी चुनौतियों का सामना करना पड़ा था। वहीं, किसान नेताओं ने कहा कि यह मीडिया को दूर रखने का सोचा-समझा प्रयास है।
वित्त मंत्री की बजट-पूर्व बैठक में गूंजा मुद्दा
नयी दिल्ली (ट्रिन्यू) : एमएसपी व्यवस्था को कानूनी समर्थन देने के लिए प्रदर्शन कर रहे पंजाब के किसानों का मुद्दा शनिवार को यहां चुनींदा किसानों और कृषि निकायों के साथ सरकार की एक महत्वपूर्ण बजट-पूर्व बैठक में गूंजा। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण की अध्यक्षता में हुई बैठक में, भारतीय किसान यूनियन ने केंद्र से पंजाब के आंदोलनकारी किसानों को शामिल करने का आग्रह किया और तर्क दिया कि उचित एमएसपी की उनकी मांग वास्तविक है। बैठक में शामिल हुए भाकियू के प्रवक्ता धर्मेंद्र मलिक ने कहा, हमने पंजाब के किसानों के लंबे आंदोलन का उदाहरण देते हुए एमएसपी व्यवस्था को मजबूत करने की आवश्यकता का मुद्दा उठाया।