एचपीएससी हो भंग, भर्ती परीक्षाओं की हो सीबीआई जांच : दीपेंद्र
योग्य हरियाणवी युवाओं का हक मारा जा रहा है। उन्होंने कहा कि पेपर लीक, कैश फॉर जॉब, घपले-घोटाले ही पिछले एक दशक से एचपीएसएस का ट्रैक रिकार्ड रहा है। आयोग परचून की दुकान बन गया है, यहां हर पदों के अलग-अलग रेट हैं। दीपेंद्र ने कहा कि हरियाणा के बाहर के राज्यों में तमाम सरकारें नौकरियों में स्थानीय निवासियों को तरजीह देती हैं। हरियाणवी विरोधी भाजपा सरकार दूसरे राज्यों के लोगों को नौकरी देने के साथ ही अब डेप्यूटेशन पर भी हरियाणा के बाहर से लोगों को बुला रही है।
उन्होंने कहा कि चेयरमैन से लेकर तमाम बड़े पदों समेत नायब तहसीलदार तक के पद के लिए सरकार को हरियाणा में कोई योग्य व्यक्ति नहीं मिल रहा है। नायब तहसीलदार के प्रतिनियुक्ति का मामला इकलौता नहीं है। डीसी कार्यालयों में सुशासन सहयोगी लगाने से लेकर एचपीएससी के चेयरमैन तक की नियुक्ति अन्य राज्यों से बुलाकर की गई। उन्होंने कहा कि आयोग चेयरमैन किसी हरियाणवी को लगाया जाए।